दा इंडियन वायर

स्कूल का पहला दिन पर निबंध

my first day of school essay in hindi

By विकास सिंह

my first day at school in hindi

विषय-सूचि

स्कूल का पहला दिन पर निबंध (my first day at school essay in hindi)

यह स्कूल में मेरा पहला दिन था। मेरे पास एक नया बैग, पानी की बोतल, नई किताबें, जूते और मोजे और साथ ही डोरा आकार का टिफिन बॉक्स था। मैं इन सभी नई चीजों के साथ स्कूल जाने के बारे में खुश था, लेकिन मुझे जो दुख हुआ वह यह था कि मुझे नए दोस्त भी बनाने थे। इसलिए, मैं उस दिन खुद मेरे लिए एक दोस्त खोजने के लिए भगवान से पूछने के लिए घर छोड़ने से पहले प्रार्थना कक्ष में भाग गया।

मुझे लगा कि स्कूल का मेरा पहला दिन बहुत उबाऊ होगा – अकेले बैठे हुए केवल नोट्स की नकल करना और दूसरों को अपने दोस्तों के साथ बात करते और हँसते हुए देखना। मैं अपनी कक्षा में पहुँच गया। जब मैं नया था तब सभी मुझे देख रहे थे। सुकर है! शिक्षक तेजी से आया, क्योंकि सभी चिल्ला रहे थे। हमें अपना परिचय देना था। जब मैंने अपना परिचय दिया और अपनी जगह पर बैठा तो मुझे अचानक अपनी पीठ से एक छोटी सी आवाज़ सुनाई दी। किसी ने कहा, “मुझे माफ कर दो” और मैं घूम गया।

मेरे आश्चर्य करने के लिए यह एक सुंदर लड़की थी। “हाँ” मैंने कहा, और फिर उसने मुझसे पूछा कि क्या मैं उसका दोस्त बन सकता हूँ? मैं बहुत खुश था कि मैं खुद को हाँ कहने से रोक नहीं पाया। स्कूल के पहले दिन एक दोस्त !! घर पहुँचने के बाद मैं प्रार्थना कक्ष में भाग गया और भगवान का धन्यवाद किया क्योंकि स्कूल जाने से पहले मैंने भगवान से उस दिन मेरे लिए एक दोस्त खोजने के लिए कहा था। उसका नाम बेथ है। वह सात साल की है और उसका जन्मदिन 13 मई को है, जो मेरा है। हम अभी अच्छे दोस्त हैं और तभी से हम एक साथ कई गतिविधियाँ करते हैं। हम हमेशा हमेशा के लिए सबसे अच्छे दोस्त होंगे।

my first day at school

पाठशाला का पहला दिन पर निबंध (essay on my first day at school in hindi)

उस दिन परिवार बेहद उत्साहित था। मेरे माता-पिता मुझे पिछले दिन मंदिर ले गए थे और मेरा बैग बहुत देखभाल के साथ पैक किया गया था। मुझे अपने जीवन में पहली बार पाठशाला जाना था। मैं तीन साल का था और मुझे आज भी याद है कि मैं पहली बार पाठशाला गया था। मेरे पिता मुझे अपनी कक्षा में छोड़ने आए और मुझे अपने शिक्षक और कक्षा से परिचित होने में मदद की। मुझे घर से इतने घंटे दूर रहने के ख्याल से नफरत थी। कार से उतरते ही मैंने आँसू बहा दिए और मेरे पिता का हाथ थाम लिया।

मेरे पिता मेरे डर को महसूस कर सकते थे और खेल के मैदान पर मेरा ध्यान आकर्षित करके मुझे खुश करने की कोशिश करते थे, जहां झूले मुझे आने और खेलने के लिए आमंत्रित कर रहे थे। मैं थोड़ा बेहतर हूं क्योंकि मैंने कई अन्य लड़कों और लड़कियों को कक्षा में प्रवेश करते हुए देखा, जहां मुझे जाना था।

श्रीमती स्मिथ वह एक दयालु महिला थीं, जिन्होंने हम सभी को सहज महसूस कराया। जल्द ही मुझे एहसास हुआ कि स्कूल मजेदार था क्योंकि श्रीमती स्मिथ ने हमें कुछ गाने सिखाए और हमें कुछ कहानियाँ सुनाईं। उसने हमारे पाठशाला में हमारी माँ की जगह ली।

मेरा साथी मेरे साथ अपना दोपहर का भोजन साझा करने लगा। हम सबसे अच्छे दोस्त बन गए और जल्द ही मुझे अपने पाठशाला से प्यार हो गया। हालाँकि आज भी, जब मैं पाठशाला 1 में अपने पहले दिन के बारे में सोचता हूँ, तो मुझे उस डर को याद करना चाहिए जो मेरे पास था और कैसे मेरे शिक्षक और मेरे दोस्तों ने इस भावना को दूर करने में मेरी मदद की।

पाठशाला में पहले दिन की मेरी यादें आज तक मुझे परेशान करती हैं। फिर कभी मैंने अजीब भावनाओं के मिश्रण का अनुभव नहीं किया है। नए दोस्त बनाने के उत्साह के साथ-साथ स्कूल में होने की चिंता-इन सभी ने स्कूल में मेरा पहला दिन सबसे यादगार बना दिया और मैं उस मासूमियत और मस्ती के लिए लंबी हो गई जो मेरे और मेरे दोस्तों के बीच आम थी।

विद्यालय का पहला दिन पर निबंध (essay on my first day at school in hindi)

यह एक चमकदार धूप का दिन था, मेरी माँ ने मुझे स्कूल के मुख्य द्वार पर गिरा दिया। मैंने एक गहरी साँस ली और मुख्य द्वार की ओर चलने लगा। मैं एक भावनात्मक उथल-पुथल में था। मैं उत्तेजित था, डर गया और थोड़ा सा घबरा गया।

मैं धीरे-धीरे आगे बढ़ता गया क्योंकि मैंने बाकी सभी बच्चों को देखना शुरू किया। अधिकांश समूह में थे और सभी हंसते और मुस्कुराते हुए बात कर रहे थे। मैं बहुत छोटा महसूस करता था, जैसे कि मैं एक एलियन था, जो अभी-अभी धरती पर आया था। मैं वापस जाना चाहता था लेकिन यह संभव नहीं था। जब मैं स्कूल के मुख्य भवन में पहुँचा तो मैं स्वागत क्षेत्र तक गया जहाँ मैंने अपने कक्षा कक्ष के बारे में पूछताछ की।

इसके बजाय, मुझे लगा जैसे मुझे सिर्फ हत्या के लिए गिरफ्तार किया गया था। मुझे एक साथ लगभग 5 प्रश्नों के साथ बमबारी की गई थी। मैंने उन सभी को जवाब दिया।

मैं एक जोकर की तरह प्रत्येक वर्ग में गया, क्योंकि हर कोई मुझे देखता था क्योंकि मैंने उनकी तरह कपड़े नहीं पहने थे। मुझे लगा कि कोई आकर मुझे ‘हैलो’ कहेगा। आज तक, मैं अभी भी इंतजार कर रहा हूं। मुझे या मेरी तरह जानने के लिए किसी ने भी यहां समय नहीं लिया। मुझे पता है कि वे सभी मुझे जज करते हैं, क्योंकि मैंने भी उन्हें जज किया है।

अंत में, मैंने अपनी कक्षा को पाया और पाया कि दो शिक्षकों ने वास्तव में मुझे प्रभावित किया, जिसने मुझे आश्चर्यचकित किया; मुझे नहीं लगा कि पूरे स्कूल में कोई मुझे प्रभावित करेगा। शिक्षक ने मुझे कक्षा में एक नए छात्र के रूप में पेश किया और मुझे अपनी सीट दिखाई। मैं एक विज्ञान मॉडल की तरह महसूस कर रहा था और वे मुझ पर प्रयोग करने जा रहे थे।

विराम में, मैं अपनी कक्षा से बाहर आया, कैंटीन में अकेला बैठा था और अपनी माँ और पिताजी को याद कर रहा था। फिर से, मैं अपनी कक्षा में वापस चला गया। मैं बहुत अकेला महसूस कर रहा था। अंतिम अवधि एक नृत्य अवधि थी। हर कोई अपने साथियों के साथ नाच रहा था लेकिन मैं अकेला बैठा था। दिन के अंत में, मुझे अभी भी नए स्कूल से नफरत थी, अपने सभी पुराने दोस्तों को याद कर रहा था।

हालाँकि, जैसे-जैसे समय बीतता गया, मैंने नए दोस्त बनाए। आज, मैं एक शानदार छात्र और फुटबॉल टीम का कप्तान हूं। मैंने अब स्कूल जाना सीख लिया है।

[ratemypost]

इस लेख से सम्बंधित यदि आपका कोई भी सवाल या सुझाव है, तो आप उसे नीचे कमेंट में लिख सकते हैं।

विकास नें वाणिज्य में स्नातक किया है और उन्हें भाषा और खेल-कूद में काफी शौक है. दा इंडियन वायर के लिए विकास हिंदी व्याकरण एवं अन्य भाषाओं के बारे में लिख रहे हैं.

Related Post

Paper leak: लाचार व्यवस्था, हताश युवा… पर्चा लीक का ‘अमृत काल’, केंद्र ने पीएचडी और पोस्ट-डॉक्टोरल फ़ेलोशिप के लिए वन-स्टॉप पोर्टल किया लॉन्च, एडसिल विद्यांजलि छात्रवृत्ति कार्यक्रम का हुआ शुभारंभ, 70 छात्रों को मिलेगी 5 करोड़ की छात्रवृत्ति, 9 thoughts on “स्कूल का पहला दिन पर निबंध”.

Kya sachmuch aapke school ka pahla din aaisa Gaya tha

Bahut hi Ganda hai modern jamane ke hisaab se lekin whasy achacha hai

Bhaut Bai Kar ha 😠😠😠😡😡

Page love Jo ISA banay ha🤮👹👹👹👹👹👺👺💀☠️💩💩💩💩💩

it is fine telling lie bikar hai

it was amazing and agar tum log ko lagta hai ki bekar hai to khud isse accha likh ke dikhao

bohot acha hai agar tomare lie bekar hai to khud post kar lo ek essay unho ne itni mehnat ki he

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.

जर्मनी अफ्रीका में महामारी को रोकने के लिए 100,000 एमपॉक्स वैक्सीन खुराक दान करेगा

Landslide in kerala: वायनाड भूस्खलन- प्राकृतिक हादसा या मानव जनित, paris olympic 2024: “जलवायु आपातकाल” के बीच ऐतिहासिक आयोजन, 25 जुलाई को मनाया जायेगा संविधान हत्या दिवस – अमित शाह.

My First Day at School “स्कूल में मेरा पहला दिन” Essay in Hindi, Best Essay, Paragraph for Class 8, 9, 10, 12 Students.

स्कूल में मेरा पहला दिन, my first day at school.

मेरा नामांकन शहर के एक प्रसिद्ध उच्च माध्यमिक विद्यालय में छठी कक्षा में हुआ था। नए विद्यालय में जाने के लिए मैं बहुत उत्साहित था। उस दिन जल्दी उठकर विद्यालय जाने की तैयारी करने लगा । पिताजी स्कूटर से मुझे विद्यालय ले गए। उन्होंने कक्षा अध्यापक से मेरा परिचय करा दिया । कक्षा अध्यापक ने मेरा नाम पूछकर मुझे प्रार्थना में शामिल होने का निर्देश दिया। उन्होंने मुझे कक्षा का कमरा भी दिखाया । प्रार्थना के बाद मैं अपनी कक्षा में बैठ गया । हाजिरी के बाद बारी-बारी से विज्ञान, अंगरेजी, गणित और कंप्यूटर की पढ़ाई हुई । शिक्षकों ने नए छात्रों से नाम और परिचय पूछा । फिर मध्यावकाश की घंटी बजी । मध्यावकाश में मुझे कुछ सहपाठियों से परिचय का अवसर मिला । इसके बाद मैंने घर से लाया हुआ नाश्ता किया । मध्यावकाश के बाद पढ़ाई फिर से आरंभ हुई । तीन पीरियड के बाद छुट्टी की घंटी बजी । सभी विद्यार्थी हुड़दंग मचाते हुए विद्यालय से बाहर आ गए । इस तरह स्कूल में मेरा पहला दिन नए-नए अनुभवों को प्राप्त करने में बीता । शिक्षकों और सहपाठियों के मिलनसार व्यवहार से मैं बहुत खुश था।

शब्द – भंडार

उत्साहित = आतुर, उत्साह से भरा हुआ, मध्यावकाश = मध्य+अवकाश = बीच की छुट्टी। सहपाठियों = साथ पढ़नेवालों । निर्देश = हिदायत, समझाना । हुड़दंग = उछल-कूद और उपद्रव ।

Related Posts

Hindi-Essays

Absolute-Study

Hindi Essay, English Essay, Punjabi Essay, Biography, General Knowledge, Ielts Essay, Social Issues Essay, Letter Writing in Hindi, English and Punjabi, Moral Stories in Hindi, English and Punjabi.

Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.

स्कूल में मेरा पहला दिन हिंदी निबंध First Day of My School Essay in Hindi

First Day of My School Essay in Hindi: एक हाथ में पट्टी लिए, जेब में पेन डाले और एक हाथ में माता, पिता या बड़े भैया की अँगुली पकड़े छह सात वर्ष का बालक जब पहले-पहल स्कूल जाता है तब सचमुच यह उसके जीवन की एक महत्त्वपूर्ण घटना बन जाती है। उस समय मेरी उम्र लगभग छ: वर्ष की थी, जब एक दिन मैं अपने पिताजी के साथ स्कूल में दाखिल होने के लिए चला था। अभी तक मेरा जीवन खाने-पीने और खेलने-कूदने में ही गुजरा था, इसलिए किसी तरह के बंधन से मेरा परिचय नहीं हुआ था।

स्कूल में मेरा पहला दिन पर हिंदी में निबंध First Day of My School Essay in Hindi

स्कूल में मेरा पहला दिन पर हिंदी में निबंध First Day of My School Essay in Hindi

प्रिन्सिपल साहब से भेंट और कक्षा में प्रवेश.

पिताजी मुझे सबसे पहले स्कूल के मुख्याध्यापकजी के पास ले गए। मैंने देखा कि एक बड़ी मेज पास कुर्सी पर एक महोदय काला चश्मा पहने बैठे हैं। मैंने उनको प्रमाण किया। स्कूल के रजिस्टर में मेरा नाम लिख दिया गया। उसके बाद पिताजी मुझे वर्ग-शिक्षक के पास ले गए। वर्ग-शिक्षक मेरी ओर देखकर मुस्कराए और उन्होंने मुझे पहली बेंच पर बैठने का आदेश दिया। शाम को मैं तुम्हें लेने आऊँगा यह कहकर मेरे पिताजी चले गए।

स्कूल में मेरे लिए सब कुछ नया था। कक्षा के सभी लड़कों की आँखें मुझ पर ही लगी हुई थीं। यद्यपि स्वभाव से मैं चपल था, फिर भी उस समय किसी से बोलने की हिम्मत नहीं हो रही थी। शिक्षक सामने के काले तख्ते पर गिनती लिखते थे और हर लड़के से पूछते थे। न बतानेवाले को खड़ा रखा जाता था। मैं मन ही मन डर रहा था। धीरे-धीरे मेरी बारी आई। पर शिक्षक के पूछते ही मैंने झट से ठीक उत्तर दे दिया। उन्होंने मुझे शाबाशी दी।

एक लड़के से मित्रता

दोपहर की छुट्टी में एक लड़के ने आकर बड़े स्नेह से मेरा नाम पूछा। उसने ही मुझे पानी पीने का कमरा और शौचालय दिखाया। वह उसी दिन मेरा मित्र बन गया। वह मेरी कक्षा का मानीटर अशोक था।

शाम तक पढ़ाई होती रही। आखिरी घंटे में शिक्षक महोदय ने एक कहानी सुनाई। वह मुझे बड़ी अच्छी लगी । पर मन में यही हो रहा था कि कब छुट्टी हो और कब घर भागू। भूख भी बहुत जोर से लगी थी। समय होते ही टन्-टन् करके घंटी बजी। लड़के उठ-उठकर भागने लगे। अशोक के साथ मैं भी बाहर निकला। पिताजी दरवाजे पर मेरा इंतजार कर रहे थे। मैंने उनसे अशोक का परिचय कराया। घर पहुँचते ही माताजी ने मुझे चूमकर गले लगा लिया।

इस प्रकार स्कूल में मेरे विद्यार्थी जीवन का श्रीगणेश हुआ। यह मेरे जीवन का वह शुभ दिन था, जब मैंने स्कूल में जाकर अपने सामूहिक जीवन का प्रारंभ किया और सहयोग तथा मित्रता का पहला पाठ सीखा।

इस निबंध को भी पढ़िए:

  • Essay on Population Growth in Hindi | जनसंख्या वृद्धि पर निबंध
  • Essay on Major Festivals of India | भारत के प्रमुख त्योहार पर निबंध
  • द्रौपदी मुर्मू पर निबंध | Essay Draupadi Murmu in Hindi
  • फिट इंडिया पर निबंध | Essay on Fit India in Hindi
  • Essay on Start-Up India in Hindi | स्टार्टअप इंडिया पर निबंध
  • Essay on Diwali in Hindi | दीपावली का त्यौहार

Rakesh More

इस ब्लॉग पर आपको निबंध, भाषण, अनमोल विचार, कहानी पढ़ने के लिए मिलेगी |अगर आपको भी कोई जानकारी लिखनी है तो आप हमारे ब्लॉग पर लिख सकते हो |

  • Now Trending:
  • Nepal Earthquake in Hind...
  • Essay on Cancer in Hindi...
  • War and Peace Essay in H...
  • Essay on Yoga Day in Hin...

HindiinHindi

Essay on my first day at school for class 4 in hindi विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध.

Essay on My First Day at School for Class 4 in Hindi. विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध। कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11 और 12 के बच्चों और कॉलेज के विद्यार्थियों के लिए विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध हिंदी में।

Essay on My First Day at School for Class 4 in Hindi विद्यालय में पहले दिन पर निबंध

hindiinhindi Essay on My First Day at School for Class 4 in Hindi

Essay on My First Day at School for Class 4 in Hindi 250 Words

यह मेरा दूसरा विघालय है, फिर भी जिस दिन इस विघालय में मेरा पहला दिन था, मैं बहुत घबराया हुआ था। हाल ही में हम दिल्ली में आकर बस थे इसलिए मुझे अपना विघालय बदलना पडा। यह विघालय मेरे पहले वाले विघालय से बिल्कुल अलग है। इसकी इमारत बहुत शानदार है। इमारत के दोनों और बडे मैदान है। मैं इस विघालय में आकर बहुत खुश हूँ। मैने कुछ विद्यार्थी इधर उधर घूमते देखा। उनका मेरी और कोई ध्यान नहीं था। जबकि कुछ विधार्थी मुझे घूर रहे थे। मैं इससे भयभीत हो गया।

मैं सोच रहा था कि आखिर किस तरह इन सभी सहपाठियों के साथ धुल-मिल पाउंगा। तभी मेरी कक्षा अध्यापिका प्रधानाध्यापक जी के कक्ष से बाहर आई और मुझे अपने साथ मेरी कक्षा में ले गई। उन्होंने मेरा परिचय विधार्थियों से करवाते हुए एक विधार्थी को कहा कि वो मुझे एक स्थान दें और मुझे कहा कि मैं हर रोज उसी स्थान पर बेठू। उस विधार्थी ने मुझे हैलो तक नही कहा। मैं अपने आपको अकेला और बेवकूफ महसूस कर रहा था। तभी घंटी बजी। अध्यापिका ने कक्षा से प्रस्थान किया। कुछ पाँच–छह विधार्थीयों ने मुझे घेरकर मेरा नाम पूछा व अपना नाम भी बताया, सभी एक दूसरे का मजाक उड़ा रहे थे और एक-दूसरे की टांग खिंचाई कर रह थे। जल्दी ही मैं भी उनके साथ घुल मिल गया और अब मैं उनमें से ही एक विघार्थी था। अब मुझे मेरा विघालय बहुत अच्छा लगता है।

More Topics

Application for School Leaving Certificate in Hindi

Essay on My School Library in Hindi

Essay on School Annual Function in Hindi

My Favourite School Essay in Hindi

Essay on Indiscipline in Hindi

Essay on Population in Hindi

Thank you for reading. Don’t forget to give us your feedback.

अधिक जानकारी प्राप्त करने के लिए हमारे फेसबुक पेज को लाइक करे।

Share this:

  • Click to share on Facebook (Opens in new window)
  • Click to share on Twitter (Opens in new window)
  • Click to share on LinkedIn (Opens in new window)
  • Click to share on Pinterest (Opens in new window)
  • Click to share on WhatsApp (Opens in new window)

About The Author

my first day of school essay in hindi

Hindi In Hindi

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Email Address: *

Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.

Notify me of follow-up comments by email.

Notify me of new posts by email.

HindiinHindi

  • Cookie Policy
  • Google Adsense

विद्यालय का पहला दिन निबंध,कविता व विचार First day of school essay, poem, quotes in hindi

First day of school essay in hindi.

mera school ka pehla din essay in hindi-विद्यार्थियों के जीवन में स्कूल का पहला दिन जब आता है तो यह दिन उनके लिए खुशी भी लाता है लेकिन थोड़ा गम भी लाता है क्योंकि एक और वह स्कूल में पहली बार आते हैं तो उन्हें थोड़ा डर का एहसास होता है वहीं दूसरी ओर स्कूल में उन्हें उन्हीं की तरह विद्यार्थी यानी उनके साथी मिल जाते हैं जिनके साथ रहकर वह खुशी का अनुभव करते हैं।

First day of school essay in hindi

मेरे स्कूल का पहला दिन मेरे लिए एक यादगार दिन है सुबह सुबह मेरी मां ने मुझे जल्दी जगाया और मुझे नहलाया तब मेरी उम्र 4 साल थी मैं बच्चा था मुझे कुछ भी ज्यादा समझ नहीं थी मैं समझ गया था कि आज मुझे पहली बार स्कूल जाना है क्योंकि उसके एक दिन पहले ही मैं अपने पिता के साथ स्कूल गया हुआ था वहां पर अध्यापक ने मुझसे कुछ सवाल किये थे और मैंने उनका जवाब दिया और मेरा स्कूल में एडमिशन हो गया था।

अब मैं स्कूल जाने के लिए तैयार हो रहा था नहाने के बाद मेरी मां मुझे नाश्ते में दूध के साथ में टॉस लेकर आए मैंने बहुत ही मजे से टॉस खाये। उसके बाद मैंने स्कूल की ड्रेस पहनी मैंने अपने स्कूल की ड्रेस जब पहले दिन पहनी थी तव मुझे अच्छा लग रहा था ड्रेस के साथ मैंने काले रंग के स्कूल के जूते पहने। मैं अपनी ड्रेस और जूतों को पहन कर बहुत खुश था क्योंकि जब भी मेरे माता-पिता मुझे कुछ नई चीज दिलवाते थे तो मुझे खुशी होती थी मैं अपने पापा के साथ मोटरसाइकिल पर बैठकर स्कूल की ओर जाने लगा जहां स्कूल की ड्रेस पहनते हुए मुझे खुशी हो रही थी वहीं पहली बार स्कूल जाने में मुझे डर लग रहा था।

मैं पाप से पूछ रहा था कि पापा क्या आप मुझे छोड़ कर वापस आ जाओगे इसी के साथ मैं डरा हुआ था तभी स्कूल का वह दरवाजा आ गया जहां पर हम पिछले दिन भी आए थे दरवाजे के बाहर एक चौकीदार खड़ा हुआ था हम अंदर क्लास रूम में गए। मेरे पापा मुझे पहली क्लास की ओर ले गए जैसे ही वह मुझे पास में ले गए तो मैंने देखा कि वहां पर मेरी ही तरह बहुत सारे विद्यार्थी हैं मुझे डर नहीं लगा क्योंकि मैंने सोचा कि चलो मैं इनके साथ में खेल लूंगा।

मेने देखा कि उस क्लास में हमारी कॉलोनी के कुछ और लड़के भी हैं जो मेरे साथ खेलते हैं तो मुझे बहुत खुशी हुई मैं क्लास में अंदर गया और उनके पास में बैठ गया। मेने टीचर को गुड मॉर्निंग बोला टीचर ने मेरा नाम पूछा मेरे बारे में पूछा और मुझे चॉकलेट भी दी मैं बहुत खुश हुआ क्योंकि मुझे पहले डर लग रहा था लेकिन मेरे अपने ही दोस्त मेरी कक्षा में थे और साथ में मेरी एक अच्छी सी टीचर थी तो मुझे खुशी हुई। पहले दिन टीचर ने हम सब के बारे में जाना और फिर पढ़ाई शुरू की। लगभग 4 पीरियड हो जाने के बाद हमारा लंच हुआ मेरी मम्मी ने टिफिन में मेरे लिए कुछ खाने के लिए रखा था मैंने उस टिपिन को खोलकर देखा तो उसमें मेरे मनपसंद आलू के पराठे रखे हुए थे।

में अपने और दोस्तों की तरह ही एक जगह बैठकर पराठे खा रहा था मैं बहुत ही खुश हुआ उसके बाद कुछ ही समय बाद हम वापस हमारी क्लास में आ गए और हम हमारी जगह पर बैठ गए तब एक और टीचर हमारी क्लास में आई उन्होंने हमें पढ़ाया समझाया। पहले दिन हमें कुछ भी खास समझ में नहीं आया क्योंकि सभी बच्चे यही सोच कर डर रहे थे कि पता नहीं हमारे टीचर हमें क्या सिखाएंगे और क्या हम सीख पाएंगे? उसके बाद और भी टीचर आए हमें और भी विषय पढ़ाए उसके बाद हमारे स्कूल की छुट्टी हो गई।

स्कूल की छुट्टी जैसे ही हुई सभी विद्यार्थी स्कूल से बाहर जाने लगे उनके साथ मैं भी जाने लगा तो मैंने देखा कि मेरी कक्षा के बाहर मेरे पापा खड़े हुए हैं मैं उनके पास गया उन्होंने मेरी उंगली पकड़ी और बाहर तक मुझे ले गए। मैंने देखा कि मेरे दोस्तों को भी उनके पापा लेने के लिए आए हुए हैं वहां पर लगभग हर बच्चे के मां बाप उसे लेने के लिए आए हुए थे फिर हम हमारी मोटरसाइकिल पर बैठकर घर की ओर चल पड़े।

घर पहुंच कर मुझे अच्छा नहीं लग रहा था क्योंकि उस स्कूल में मेरी तरह और भी कई विद्यार्थी थे मैं उनसे बातें कर रहा था,पढ़ाई कर रहा था उनके साथ मुझे यह सब अच्छा लग रहा था लेकिन तभी एक आशा भी थी कि मैं अगली सुबह स्कूल जाऊंगा और अपने दोस्तों से मिलूंगा। मैंने अपना स्कूल का पहला दिन बहुत ही अच्छी तरह गुजारा। में स्कूल जाते समय जो डर रहा था स्कूल जाने के बाद वह मेरा डर लगभग खत्म हो गया था ।

  • विद्यालय पत्रिका के लिए लेख Interesting articles for school magazine in hindi
  • आदर्श विद्यालय पर निबंध Adarsh vidyalaya essay in hindi

विद्यालय का पहला दिन पर कविता first day of school poem in hindi

स्कूल का पहला दिन मुझे आज भी याद है खुशियों और गम का दिन मुझे आज भी याद है नए नए दोस्तों का मिलना और खेलना कूदना सभी के संग रहना मुझे आज भी याद है

सुबह जल्दी जागना नहा धो कर भागना पापा का स्कूल छोड़ना मुझे आज भी याद है दुनिया की झंझट से परे हम तो स्कूल में पढ़े स्कूल का पहला दिन मुझे आज भी याद है खुशियों और गम का दिन मुझे आज भी याद है

विद्यालय का पहला दिन पर विचार first day of school quotes in hindi

  • स्कूल का पहला दिन हर विद्यार्थी के लिए सबसे महत्वपूर्ण दिन होता है विद्यार्थी अज्ञान से ज्ञान की ओर बढ़ते हैं
  • स्कूल का पहला दिन हर एक विद्यार्थी को हमेशा याद रहता है
  • स्कूल के पहले दिन किसी विद्यार्थी के होठों पर मुस्कान होती है तो कोई विद्यार्थी उदास होता है
  • इस दिन हर एक बच्चे का एक नया जन्म होता है
  • स्कूल के पहले दिन अगर हमें हमारे जैसे विद्यार्थी यानी हमारे दोस्त मिल जाएं तो यह दिन बहुत ही खुशी देता है
  • यह दिन किसी को गम देता है तो किसी को खुशी
  • हर किसी इंसान के जीवन में यह दिन जरूर आता है
  • अगर स्कूल के पहले दिन विद्यार्थी का डर खत्म हो जाए तो यह दिन उसके लिए बहुत ही खुशी के दिन होते हैं ।
  • विद्यालय पत्रिका के लिए कविता Poems for school magazine in hindi
  • आदर्श विद्यार्थी पर कविता Poem on ideal student in hindi

दोस्तों अगर आपको हमारे द्वारा लिखा गया ये आर्टिकल First day of school essay, poem, quotes in hindi पसंद आए तो इसे अपने दोस्तों में शेयर करना ना भूले इसे शेयर जरूर करें और हमारा Facebook पेज लाइक करना ना भूलें और हमें कमेंटस के जरिए बताएं कि आपको हमारा यह आर्टिकल कैसा लगा जिससे नए नए आर्टिकल लिखने प्रति हमें प्रोत्साहन मिल सके और इसी तरह के नए-नए आर्टिकल को सीधे अपने ईमेल पर पाने के लिए हमें सब्सक्राइब जरूर करें जिससे हमारे द्वारा लिखी कोई भी पोस्ट आप पढना भूल ना पाए.

Related Posts

my first day of school essay in hindi

kamlesh kushwah

' src=

In my opinion it is good

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Email Address: *

Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.

विद्यालय में मेरा पहला दिन निबंध

विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध।  hindi essay on my first day at school.

कभी-कभी ऐसा होता है। जब कहीं पर किसी विशेष अवसर पर प्रवेश करना पड़ता है। इस प्रकार अनुभव कभी-कभी बहुत मीठा होता है। तो कभी बहुत खट्टा ओर कभी कड़वा होता है। फिर भी ये सभी अनुभव हमारे जीवन पर एक गहरी छाप छोड़ जाते है। इस प्रकार ये अनुभव जीवन मे सजीव हो जाते है। यू तो ओर के जैसे मुझे भी कुछ अनुभव प्राप्त है। जिन्हें हम भुलाएं नही भूलते है। इस प्रकार के अनुभव में एक अनुभव मेरे विद्यालय में पहला दिन था।

विद्यालय में मेरा पहले दिन का अनुभव उस समय का है जब मेंने आठवीं कक्षा पास कर ली थी। मेरा रिजेल्ट बहुत ही अच्छा था मैंने प्रथम श्रेणी में पास कर लिया था। इसलिए मुझे शहर के एक अच्छे विद्यालय में प्रवेश लेने का अवसर प्राप्त हुआ। मेरे परिवार सहित सभी पास पड़ोस ओर रिश्तेदारों ने अपनी-अपनी सलाह ओर सुझाव प्रदान किये। सबके सुझाव सुनकर मेरे पापा ने मुझे एक अच्छे विद्यालय में मेरा प्रवेश करवा दिया। विद्यालय में प्रवेश के बाद मेरा प्रवेश पत्र भरकर जमा करवा दिया। कुछ दिनों बाद प्रवेश-सूची निकाली गई। और पहली सूची में ही मेरा नाम आ गया था। ये देखकर में बहुत खुश हुई। शुल्क, आदि जमा करने के बाद में अपने पठन-पाठन के लिए निश्चित समय पर विद्यालय के लिए घर से चल पड़ा।

स्कूल में पहला दिन:- में समय से पाँच मिनट पहले ही स्कूल पहुँच गया था। मुझे मेरी कक्षा को ढूढने में ज्यादा टाइम नही लगा। और जल्दी ही मुझे मेरी सीट भी मिल गयी। में कक्षा को ध्यान से देख ही रहा था। तभी प्रार्थना की घण्टी बज गई। में अन्य छात्रों के साथ प्राथना के लिए कक्षाओं के सामने विद्यालय के बीचोबीच बहुत बड़े मैदान में पहुँच गया। पाँच मिनट बाद सबके साथ मेने भी प्राथना की। इसके बाद पी.टी.टीचर ने सावधान कराते हुए कुछ हल्के से व्ययाम करवा कर सबको पंक्तिबद्ध होते हुए अपनी-अपनी कक्षा में आकर बैठ गया। चूंकि में उस विद्यालय का नया छात्र था। इसलिय में स्वम् को कुछ अजनबी-सा अनुभव कर रहा था। उधर दुसरे छात्र भी मुझे कुछ अजीब ढंग से देख रहे थे। इसके बाद घण्टी बजी। घण्टी बजते ही सभी छात्र अपने-अपने स्थान पर शांतिपूर्वक बैठ गए।

थोड़ी देर बाद टीचर ने अटेंडेंस ली।उन्होंने मुझे बड़े ध्यान से देखा।देखते ही मुझ पर प्रशनो की बौछार कर दी। एक -एक करके उन्होंने प्रशन करना शुरू कर दिया।क्या नाम है? पिता का क्या नाम है?किस स्कूल से आये हो।कहा रहते हो? आदि।मेने एक-एक करके उनके सभी प्रश्नों के उत्तर दिया।इससे वो मुझसे बहुत खुश हुए।उनके चले जाने के बाद कक्षा आरम्भ की घण्टी बजी।पहला पीरियड शुरू हुआ।जो कि गणित का था।उन्होंने एक सवाल समझाया उसके आधार पर उन्होंने दूसरा प्रशन हल करने को कहा।मेने जल्दी से हल कर दिया।सभी छात्रों सहित अध्यापक महोदय भी मेरा मुँह देखने लगे।उन्होंने मेरा नाम,पिता का नाम,पहले स्कूल का नाम,परीक्षा परिणाम आदि विषय के बारे में पूछा।मेने सभी प्रश्नों का ऊतर दिया इससे वो बहुत प्रसन्न हुए।उन्होंने मुझे शाबासी दी।में तो निहाल हो गया।उन्होंने मुझे बैठने को कहा ओर फिर में नर कार्य करने लगा।फिर गणित का पीरियड समाप्त हो गया।

इसके बाद दूसरे पीरियड की घण्टी बजी। यह पीरियड इंग्लिश का था। टीचर ने आते ही ग्रामर के विषय मे कुछ खास-खास बातें बतलाई।इसके बाद उन्होंने डायरेक्ट इनडायरेक्ट पढ़ाना शुरू किया। पढ़ाते समझाते हुए उन्होंने प्रश्न किया। पर्सन किसे कहते है? यह कितने प्रकार का होता है। इसे सुनकर सारी कक्षा चुप भो गयी। सभी एक दूसरे का मुँह देखने लगे। तभी मेने तपाक से उत्तर देने केवलिये हाथ ऊपर उठाया । उस अध्यापक के अनुमति से मैने सटीक उत्तर दिया। उन्होंने मुझ से आगे पूछा प्रतेक पर्सन के शब्द कौन-कौन होते है? बतलाओगे ,मैने हा करते हुए सभी परसनो के शब्दों को बतला दिया। वे मेरे उत्तर से बहुत सन्तुष्ट हुए। कक्षा के सभी छात्र फिर एक बार मुझे चकित होकर देखते रह गए।

इसके बाद घण्टी बजी। अब संस्कृत का पीरियड आरम्भ हुआ। कक्षा में भारतीय संस्कृति सभ्यता के प्रतीक संस्कृत अध्यापक आये । उन्होंने बड़े ध्यान से सबको देखा। फिर संस्कृत के श्लोकों को पढ़ाया सभी छात्र मंत्रमुग्ध होकर अपना ध्यान लगाएं। इसके बाद विज्ञान का पीरियड लगा। विज्ञान अध्यापक ने बड़ी गम्भीरता ओर तल्लीनता से प्रकाश और ध्वनि नामक विज्ञान का अध्याय पढ़ाया। उन्होंने बोर्ड पर अपेक्षित रूप से  इस विषय को समझाया । सभी छात्रों ने बड़ी सावधानी के साथ इस ओर ध्यान देकर अपना काम किया। इसके बाद यह पीरियड भी समाप्त हो गया। अब लंच की घण्टी बजी सभी ने लंच किया । मेने भी अपना लांच बॉक्स खोला। अपने पास बैठे हुए छात्रों को भी मेने अपने साथ लंच करने के लिए कहा। उन्होंने भी मेरा साथ दिया। और हमने मिलकर लंच किया। इस प्रकार हमने मिलजुलकर लंच किया और हम दोस्त बन गए।

लंच समाप्त की घण्टी बजने के बाद हिंदी का पीरियड लगा। क्लास में हिंदी के सर आये वे बहुत ही सभ्य, सुशील ओर आकर्षक व्यक्तित्व के थे। उन्हें देखकर में गदगद हो गया। उन्होंने दुभद्रा कुमारी चौहान की कविता झाँसी की रानी पढ़ाई ओर फिर उसपे एक प्रशन किया। और कल सुभद्रा कुमारी चौहान का जीवन परिचय याद करके आने के लिए कहा। सभी से उन्होंने पूछा कि सुभद्रा कुमारी चौहान का जन्म कहा हुआ था। मेने उत्तर देने के लिए हाथ ऊपर उठाया , उन्होंने ऊतर देने के लिए स्वीकृति दे दी। स्वीकृति पाकर मैने उत्तर दिया। सुभद्रा कुमारी का जन्म उत्तर प्रदेश के निहालपुर गाँव मे सन 1904 ई.में हुआ था। उन्होंने मेरी प्रशंसा करते हुए कहा। देखा केवल एक ही छात्र याद करके आया है। इसे सुनकर सभी छात्रों ने कहा सर हम भी कल से याद करके आएंगे। उन्होंने मुझे शाबासी दी। इससे छात्र प्रभावित हो गए। मैंने वह दिन आज भी याद कर्जे खुश हो जाता हूँ। इसके बाद साइंस के प्रैक्टिकल की घण्टी बजी हम सब लोग गए। वहां काफी देर तक विभिन्न प्रकार के वैज्ञानिक उपकरणों को देखे-समझे । इसके बाद एक-एक करके सभी पीरियड समाप्त हो गए। में कुछ अपने नए-नए मित्रो के साथ कक्षा से बाहर निकलकर घर लौट आया।

यो तो इस विद्यालय में पढ़ते हुए मुझे दो वर्ष हो गए। किंतु इस विद्यालय में मेरा पहला दीन एक अमिट यादगार बन गया है। सचमुच में मेरा यह पहला दीन मेरे लिए बड़ा ही अदभुत ओर रोचक अनुभवों का रहा।

निबंध लेखक – कविता यादव 

#संबंधित :- Hindi Essay, Hindi Paragraph, हिंदी निबंध। 

  • मेरा प्रिय मित्र पर निबंध
  • “मेरा स्कूल”, “मेरी पाठशाला” पर निबंध
  • आदर्श विद्यार्थी पर निबंध
  • खेल का महत्व पर निबंध
  • कलम की कहानी :कलम की जबानी
  • पुस्तक मेलों की उपयोगिता
  • शिक्षा के बिना हिंदी निबंध, शिक्षा पर निबंध , शिक्षा का महत्व
  • मेरा प्रिय खेल-क्रिकेट
  • महान व्यक्तियों पर निबंध
  • पर्यावरण पर निबंध
  • प्राकृतिक आपदाओं पर निबंध
  • सामाजिक मुद्दे पर निबंध
  • स्वास्थ्य पर निबंध
  • महिलाओं पर निबंध

Related Posts

हर घर तिरंगा पर निबंध -Har Ghar Tiranga par nibandh

आलस्य मनुष्य का शत्रु निबंध, अनुछेद, लेख

‘मेरा स्टार्टअप एक सपना’ निबंध

मेरा प्रिय कवि तुलसीदास पर निबंध

15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस पर निबंध, भाषण, अनुच्छेद, 10 लाइन, Essay on independence Day

Leave a Comment Cancel reply

SILENT COURSE

Essay Writing, Letter Writing, Notice Writing, Report Writing, Speech, Interview Questions and answers, government exam, school speeches, 10 lines essay, 10 lines speech

  • Hindi Essay
  • Eng. Speech
  • Hindi Speech
  • Notice Writing
  • Report Writing

Wednesday, February 1, 2023

निबंध : स्कूल में मेरा पहला दिन - my first day at school essay in hindi - pdf, निबंध : स्कूल में मेरा पहला दिन.

my first day of school essay in hindi

No comments:

Post a comment, 28 फरवरी ➤ राष्ट्रीय विज्ञान दिवस - national science day.

  • ➤ राष्ट्रीय विज्ञान दिवस पर निबंध
  • ➤ सी.वी रमन जी पर निबंध
  • ➤ राष्ट्रीय विज्ञान दिवस पर 10 वाक्य
  • ➤ Essay on National Science Day In English
  • ➤ Essay on C.V. Raman In English
  • ➤ 10 Lines on National Science Day
  • ➤ 10 Lines on National Science Day In English

एक देश, एक चुनाव / One Nation One Election

  • - एक देश एक चुनाव पर निबंध
  • - एक देश, एक चुनाव पर 10 वाक्य
  • - Essay on One Nation, One Election In English
  • - 10 Lines on One Nation, One Election In English

आदित्य एल1 मिशन / Aditya-L1 Mission

  • - आदित्य एल1 मिशन पर निबंध
  • - आदित्य एल1 मिशन पर 10 पंक्ति
  • - Essay on Aditya-L1 Mission In English
  • - 10 Lines on Aditya-L1 Mission In English

चंद्रयान 3 / Chandrayaan-3

  • - चंद्रयान 3 पर निबंध
  • - चंद्रयान 3 पर 10 पंक्ति
  • - Essay on Chandrayaan 3
  • - 10 Lines on Chandryaan-3

Popular Posts

  • Write A Letter To Your Friend Congratulating Him On His Success In The Examination Q. Write A Letter To Your Friend Congratulating Him On His Success In The Examination. Ans : RZH-333, Street-9  Bangalore Road  Mysore - 570...
  • Write An Application To The Principal For Fee Concession Q. Write An Application To The Principal For Fee Concession. Ans :  Letter Writing To  The Principal  Adarsh School  Dwarka Sec - 7  Delhi :...
  • Write A Letter To Your Friend Inviting Him To Spend Summer Vacation With You Q. Write A Letter To Your Friend Inviting Him To Spend Summer Vacation With You. Examination Hall Palika Road, Delhi 17th May...
  • अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर निबंध - Essay on International Yoga Day In Hindi - 21st June Essay on International Yoga Day In Hindi (300 Words) अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर निबंध अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस हर साल 21 जून को पुरे विश्व मे...
  • Essay on Dr. APJ Abdul Kalam In 300 Words Essay on Dr. APJ Abdul Kalam In English | 300 Words Father of India Missile Programmed Dr. A.P.J Abdul Kalam is the 11 th president of...
  • How To Write An Application to The Principal For Sick Leave  (How To Write An Application To The Principal For Sick Leave) To  The Principal  Delhi Convent School  Subject : Application...
  • दो दिन की छुट्टी / अवकाश के लिए प्रधानाचार्य जी को आवेदन पत्र या प्रार्थना पत्र - Write An Application To The Principal For Leave Two Days Question :  Write An Application To The Principal For Leave Two Days दो दिन की छुट्टी / अवकाश के लिए प्रधानाचार्य जी को आवेदन पत्र या ...
  • स्कूल छोड़ने के लिए प्रधानाचार्य जी को प्रार्थनापत्र - Write An Application To The Principal For School Leaving Certificate In Hindi Question :   Write An Application To The Principal For School Leaving Certificate प्रश्न :   स्कूल छोड़ने के लिए प्रधानाचार्य जी को प्रार्थ...
  • Fee Installment के लिए आवेदन - Application For Fee Installment In School In Hindi Fee Installment के लिए आवेदन |  Application For Fee Installment In School In Hindi दिनांक :- सेवा में प्रधानाचार्य / प्रधानाचा...
  • Write An Application To The Principal For A School Picnic Q. Write An Application To The Principal For A Picnic Q. Application to the principal to arrange for school picnic Q. Application for Per...
  • - Road Accident Report Writing
  • - Fire Accident Report Writing
  • - Kerala Flood Report Writing
  • - Pulwama Attack Report Writing
  • - Blood Donation Camp Report Writing
  • - Lost Wrist Watch Notice Writing
  • - Lost Water Bottle Notice Writing
  • - Lost Pencil Box Notice Writing
  • - Fancy Dress Competition Notice Writing
  • - Sick Leave Application
  • - School Leaving Certificate
  • - For Scholarship
  • - Fee Concession
  • - Congratulation Letter (Exam)
  • - Application for Picnic
  • English-Essay (120)
  • Hindi-Essay (120)
  • 10-Lines-English (31)
  • 10-Lines-Hindi (31)
  • English-Festival-Essay (25)
  • Hindi-Festival-Essay (25)
  • Hindi-Speech (19)
  • Hindi-Letter (18)
  • 10-Lines-Speech (15)
  • English-Speech (14)
  • English-Letter (13)
  • Freedom-Fighter-Hindi-Essay (13)
  • Freedom-Fighter-Essay (12)
  • 10-Lines-Hindi-Speech (8)
  • 10-lines-hindi-essay (8)
  • 10-Lines-Essay (5)
  • English-Notice (5)
  • English-Report (5)
  • 10-Lines-Domestic-Animal (4)
  • 10-Lines-Historical-Monuments (2)
  • 10-Lines-Wild-Animal (2)
  • Freshers-Interview (2)
  • Experienced-Interview (1)

Site Information

  • Privacy Policy

Contact Form

Total pageviews.

my first day of school essay in hindi

45,000+ students realised their study abroad dream with us. Take the first step today

Meet top uk universities from the comfort of your home, here’s your new year gift, one app for all your, study abroad needs, start your journey, track your progress, grow with the community and so much more.

my first day of school essay in hindi

Verification Code

An OTP has been sent to your registered mobile no. Please verify

my first day of school essay in hindi

Thanks for your comment !

Our team will review it before it's shown to our readers.

Leverage Edu

  • School Education /

Short and Long Essay on Hindi Diwas

my first day of school essay in hindi

  • Updated on  
  • Sep 12, 2024

Essay on Hindi Diwas

Have you ever heard of the Hindi Diwas? This day holds significance in the Indian calendar. Hindi is one of the most commonly spoken languages in India. This language is honoured with an annual celebration known as ‘Hindi Diwas’ or ‘Hindi Day’ on September 14th in India. On the global platform, World Hindi Day is celebrated on 10 January every year. In this blog, we will look at some sample essays on Hindi Diwas, as well as a few facts about it. Continue reading this blog to learn more.

Table of Contents

  • 1 Long Essay on Hindi Diwas (500 words)
  • 2 Short Essay on Hindi Diwas (250 words)
  • 3 Facts About Hindi Diwas

Long Essay on Hindi Diwas (500 words)

Hindi Diwas is celebrated every year on September 14th. On this day in 1949, the Constituent Assembly of India adopted Hindi in the Devnagari script as the official language of independent India. The decision to make Hindi the official language of India originated from an aim to create a language that could be used as a medium of communication across multiple regions. Hindi’s historical roots are in Sanskrit, making it important to the majority of the Indian population.

However, this decision also faced severe opposition Several southern states have expressed concern about Hindi dominance, believing that it will marginalise their native languages. As a result, English was chosen as an associate official language, alongside Hindi. Hindi Diwas serves a various purpose, such as honouring the richness of the Hindi language, as one of the most spoken languages in the world. More than 40% of India’s population speaks Hindi, making it an important tool for communication. Celebrating Hindi Diwas honours the language’s cultural and historical significance, reminding people of its role in Indian identity and legacy.

Hindi Diwas also promotes the use of Hindi in everyday activities while focusing on the need to preserve and promote national heritage. Several government departments, educational institutions and cultural organisations organise events to promote the use of Hindi in writing, speaking and administration. Hindi Diwas is an effort to inspire the new generation to respect this language. In an era dominated by global languages like English, it is important to seek pride in our country’s language. Hindi Diwas motivates and promotes people to reconnect with their linguistic heritage. On this day, several schools and universities organise essay writing competitions and cultural programs in Hindi to encourage the use of the language.

Hindi is a widely spoken language, but its future in a globalised world offers both challenges and opportunities. Globalisation has resulted in a greater use of English, while Hindi continues to flourish in literature, cinema, television and digital media. In recent years, several initiatives have been made to promote Hindi on a global level. Many countries currently teach Hindi as a subject in their educational institutions, showing an effort to keep the language alive.

Hindi Diwas is a day dedicated to celebrating the rich cultural legacy of the Hindi language. In a multilingual country like India, Hindi continues to link millions and maintain a feeling of national identity.

Also Read: Essay on Indian Independence Day in English

Short Essay on Hindi Diwas (250 words)

Hindi Diwas is celebrated on September 14th to remember the day it was adopted as India’s official language. Hindi which is written in the Devanagari script, was recognised as the official language of India in 1949 due to its widespread use all over India. The decision to declare Hindi as the official language was made in order to promote unity and national identity.

Hindi Diwas is an important event in the calendar of India since it promotes the use and preservation of the Hindi language. More than 40% of India’s population speaks Hindi, highlighting the language’s cultural richness. Hindi is a Sanskrit-based language written in the Devanagari script. This day celebrates the richness of Hindi across schools, colleges and government institutions. Various schools and colleges organise essay competitions, debates and cultural performances in Hindi to encourage future generations to respect the language. 

However, Hindi has faced challenges when achieving the status of official language, especially in non-Hindi-speaking states. People were concerned that Hindi would dominate their native language, which sparked opposition. As a result, English was also designated as an associate official language, along with Hindi. It established a balance between regional and national languages. Hindi Diwas is a celebration of India’s linguistic diversity as well as a reminder of the language’s cultural and historical importance.

Also Read: Essay on Women’s Day in 200 and 500 words

Facts About Hindi Diwas

Here we have given some interesting facts about the Hindi Diwas which will enhance your understanding more on this topic.

  • Hindi Diwas is celebrated annually on September 14th to honour the contributions of Beohar Rajendra Simha, a Hindi scholar whose birthday falls on this day. He played an important role in making Hindi the official language of India.
  • On Hindi Diwas, the President of India gives Rajbhasha Awards to ministries for their outstanding efforts to promote Hindi.
  • Hindi is spoken in various countries around the world, including Nepal, Mauritius, Fiji, Suriname, Guyana and Trinidad and Tobago.
  • Hindi is the world’s third most spoken language, following English and Mandarin.
  • The first World Hindi Conference was held on January 10, 1975, in Nagpur, India.
  • Hindi has a major influence on the Bollywood legacy.
  • Hindi is the official language of 12 Indian states and union territories.
  • Hindi has various dialects in different parts of India. Some of these dialects include Bhojpuri, Awadhi, Braj, Haryanvi and Khari Boli.
  • The first Hindi newspaper, Udant Martand (The Rising Sun), was published on May 30, 1826, in Calcutta.
  • Several foreign universities, including Oxford, Cambridge, Harvard and Tokyo University, offer Hindi language courses.

World Hindi Day is celebrated on 10th January every year. It promotes and recognizes the Hindi language on a global level.

The first Hindi newspaper was Udant Martand (The Rising Sun), which was published on May 30, 1826.

Beohar Rajendra Simha was a Hindi scholar who played a key role in recognizing Hindi as the official language. To honour him, we celebrate Hindi DIwas on his birthday on 14th September.

Popular Essay Topics




For more information on such interesting topics, visit our essay writing page and follow Leverage Edu.  

' src=

Bhumika Sharma

A writer with a fresh perspective on thoughts, I have an year of experience in writing the blogs on various topics. Here, you will find my blogs for the students and education purpose.

Leave a Reply Cancel reply

Save my name, email, and website in this browser for the next time I comment.

Contact no. *

my first day of school essay in hindi

Connect With Us

45,000+ students realised their study abroad dream with us. take the first step today..

my first day of school essay in hindi

Resend OTP in

my first day of school essay in hindi

Need help with?

Study abroad.

UK, Canada, US & More

IELTS, GRE, GMAT & More

Scholarship, Loans & Forex

Country Preference

New Zealand

Which English test are you planning to take?

Which academic test are you planning to take.

Not Sure yet

When are you planning to take the exam?

Already booked my exam slot

Within 2 Months

Want to learn about the test

Which Degree do you wish to pursue?

When do you want to start studying abroad.

January 2024

September 2024

What is your budget to study abroad?

my first day of school essay in hindi

How would you describe this article ?

Please rate this article

We would like to hear more.

Have something on your mind?

my first day of school essay in hindi

Make your study abroad dream a reality in January 2022 with

my first day of school essay in hindi

India's Biggest Virtual University Fair

my first day of school essay in hindi

Essex Direct Admission Day

Why attend .

my first day of school essay in hindi

Don't Miss Out

  • क्वेश्चन पेपर
  • सामान्य ज्ञान
  • यूपीएससी नोट्स

my first day of school essay in hindi

  • Click on the Menu icon of the browser, it opens up a list of options.
  • Click on the “Options ”, it opens up the settings page,
  • Here click on the “Privacy & Security” options listed on the left hand side of the page.
  • Scroll down the page to the “Permission” section .
  • Here click on the “Settings” tab of the Notification option.
  • A pop up will open with all listed sites, select the option “ALLOW“, for the respective site under the status head to allow the notification.
  • Once the changes is done, click on the “Save Changes” option to save the changes.

Hindi Diwas Essay: हिंदी दिवस पर निबंध कैसे लिखें? 100, 250, 500 शब्दों में निबंध प्रारूप

Hindi Diwas 2024 Essay in Hindi: इस बात में कोई दो राय नहीं है कि हिंदी भाषा भारतीयों की पहचान का हिस्सा है। भारत में यूं तो कई भाषाएं और बोलियां बोली जाती है लेकिन जो दर्जा हिंदी को मिला है वो अहम है। भाषाई विविधता के जश्न के रूप में प्रति वर्ष हिंदी दिवस 14 सितंबर को मनाया जाता है। यह दिन हमारे देश की मातृभाषा हिंदी के महत्व को समझाने और उसे सम्मानित करने के लिए मनाया जाता है।

हिंदी दिवस पर निबंध कैसे लिखें?

हिंदी हमारी पहचान है और करोड़ों भारतीयों को इस पर गर्व है। हिंदी को भारत की राजभाषा का दर्जा 14 सितंबर 1949 को मिला था। इसलिए इस दिन को हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। हिंदी न केवल भारत में बल्कि दुनिया के कई अन्य देशों में भी बोली जाती है। हमारे विद्यालयों में भी हिंदी दिवस के अवसर पर कई कार्यक्रम आयोजित होते हैं, जैसे निबंध लेखन, कविता पाठ, भाषण और अन्य प्रतियोगिताओं का विशेष रूप में आयोजन किया जाता है।

बच्चों को हिंदी भाषा के महत्व और उसकी सुंदरता को समझाने के लिए यह दिन विशेष होता है। इस अवसर पर स्कूलों में विभिन्न प्रतियोगिताएं, सांस्कृतिक कार्यक्रम, निबंध लेखन और भाषण प्रतियोगिताएं आयोजित की जाती हैं। यदि आप भी स्कूल में हिंदी दिवस पर निबंध लेखन प्रतियोगिता में हिस्सा ले रहे हैं तो इस लेख से संदर्भ ले सकते हैं।

इस लेख में स्कूली बच्चों की सहायता के लिए 100, 250 और 500 शब्दों में हिंदी दिवस पर निबंध लेखन के कुछ प्रारूप प्रस्तुत किए हैं। इस लेख में तीन अलग-अलग हिंदी दिवस निबंध प्रारूप प्रस्तुत किए जा रहे हैं जो स्कूली छात्रों को हिंदी दिवस के महत्व को समझाने में मदद करेंगे। स्कूली छात्रों के लिए हिंदी दिवस पर निबंध (Hindi Diwas Essay) नीचे दिये गये हैं। ये निबंध हिंदी दिवस के महत्व को सरल और स्पष्ट तरीके से समझाने में मदद करते हैं।

हिंदी दिवस 2024 पर 100, 250, 500 शब्दों में आसान निबंध प्रारूप नीचे दिये गये हैं-

निबंध 1 (100 शब्दों में ): हिंदी दिवस कब मनाया जाता है और क्यों?

हिंदी दिवस हर साल 14 सितंबर को मनाया जाता है। यह दिन हिंदी भाषा के महत्व के प्रचार एवं प्रसार के लिए मनाया जाता है। हिंदी हमारी मातृभाषा है और इसे हमें सम्मान देना चाहिये। भारत के करोड़ों लोग अपनी बोल चाल की भाषा में हिंदी भाषा का उपयोग करते हैं। भारत में कई भाषाएं बोली जाती हैं, लेकिन हिंदी को राजभाषा का दर्जा मिला हुआ है। इसका अर्थ है कि भारत सरकार ने कामकाज की भाषा के रूप में हिंदी को विशेष स्थान दिया है। हमें गर्व होना चाहिये कि हमारी एक समृद्ध और प्राचीन भाषा है, जिसे हम हिंदी कहते हैं। यह हमारे देश की पहचान है।

deepLink articles

निबंध 2 (250 शब्दों में): हिंदी भाषा भारत की सांस्कृतिक धरोहर का अभिन्न अंग

प्रति वर्ष 14 सितंबर को हम हिंदी दिवस मनाते हैं। हिंदी दिवस, हिंदी के महत्व को समझाने और उसे प्रचारित करने के लिए समर्पित है। हिंदी को 14 सितंबर 1949 को भारत की राजभाषा का दर्जा मिला। हिंदी देश की सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषाओं में से एक है और यह हमारी सांस्कृतिक धरोहर का एक अभिन्न अंग है। हिंदी न केवल भारत में बल्कि नेपाल, मॉरीशस, फिजी और अन्य देशों में भी बोली जाती है।

हिंदी दिवस पर स्कूलों और कॉलेजों में विशेष कार्यक्रमों का आयोजन होता है। स्कूलों, कॉलेजों एवं अन्य शिक्षण संस्थानों द्वारा छात्र-छात्राओं में हिंदी भाषा के प्रति जागरूकता को बढ़ाने के लिए हिंदी दिवस मनाया जाता है। हिंदी न केवल एक भाषा है, बल्कि यह हमारे देश की एकता और अखंडता का प्रतीक है। हमें हिंदी भाषा को गर्व से बोलना चाहिये और इसे और अधिक लोकप्रिय बनाने के लिए बढ़ावा देना चाहिये। हिंदी के प्रचार-प्रसार के लिए हमें सभी क्षेत्रों में इसे अपनाना चाहिये और इसके महत्व को समझना चाहिये।

निबंध 3 (500 शब्दों में): हिंदी दिवस और हिंदी भाषा का महत्व

हिंदी दिवस भारत में हर साल 14 सितंबर को मनाया जाता है। यह दिन भारत की राजभाषा हिंदी के सम्मान और उसके महत्व को दर्शाने के लिए मनाया जाता है। हिंदी भाषा का इतिहास बहुत पुराना है और इसका भारतीय संस्कृति में एक महत्वपूर्ण स्थान है। हिंदी एकमात्र ऐसी भाषा है जो देश के अधिकांश हिस्सों में बोली और समझी जाती है।

हिंदी को 14 सितंबर 1949 को भारत की राजभाषा का दर्जा दिया गया था। इसलिए इस दिन को हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसका उद्देश्य हिंदी को न केवल सरकारी कार्यों में बल्कि आम जीवन में भी अधिक से अधिक प्रयोग में लाना है। हिंदी दिवस पर कई सरकारी और गैर-सरकारी संस्थान विभिन्न प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन करते हैं। इस दिन का मुख्य उद्देश्य लोगों को हिंदी भाषा के प्रति जागरूक करना और उसकी उपयोगिता को बढ़ावा देना है।

deepLink articles

आज के समय में अंग्रेजी भाषा का बढ़ता हुआ प्रभाव देखा जा सकता है, लेकिन हमें यह नहीं भूलना चाहिये कि हिंदी हमारी पहचान है। हमें गर्व होना चाहिये कि हम एक ऐसी समृद्ध भाषा बोलते हैं, जो हमारे देश की सांस्कृतिक विविधता को प्रदर्शित करती है। हिंदी दिवस के उत्सव से हम यह समझने में सहायता मिलती है कि भाषा केवल संवाद का साधन नहीं, बल्कि यह हमारी संस्कृति, परंपरा और पहचान का प्रतीक है।

इसलिए, हमें हिंदी भाषा के महत्व को समझना चाहिये और इसे गर्व से बोलना चाहिये। हिंदी को बढ़ावा देने के लिए हम अपने स्तर पर भी प्रयास कर सकते हैं। हम इसे अपने दैनिक जीवन में अधिक से अधिक उपयोग कर सकते हैं। हिंदी दिवस हमें यह प्रण लेना चाहिये कि हम अपनी हिंदी भाषा का सम्मान करेंगे और इसे आगे बढ़ाने में अपना भरपूर योगदान देंगे।

More HINDI DIWAS News  

Hindi Diwas 2024: जानिए हिंदी दिवस कब मनाया जाता है और क्यों? हिंदी दिवस थीम, इतिहास एवं महत्त्व क्या है?

SSC CHSL टियर 1 रिजल्ट 2024 हुए जारी, ssc.gov.in से डाउनलोड करें मेरिट लिस्ट PDF

Paris Paralympics 2024: कौन है प्रवीण कुमार ऊंची कुद के एथलीट, जिन्होंने जीता भारत के लिए छठा गोल्ड मेडल

Paris Paralympics 2024: कौन है प्रवीण कुमार ऊंची कुद के एथलीट, जिन्होंने जीता भारत के लिए छठा गोल्ड मेडल

Ganesh Chaturthi 2024: क्या गणेश चतुर्थी पर सरकारी छुट्टी होती है? यहां देखें राज्यानुसार अवकाश की सूची

Ganesh Chaturthi 2024: क्या गणेश चतुर्थी पर सरकारी छुट्टी होती है? यहां देखें राज्यानुसार अवकाश की सूची

  • Don't Block
  • Block for 8 hours
  • Block for 12 hours
  • Block for 24 hours
  • Dont send alerts during 1 am 2 am 3 am 4 am 5 am 6 am 7 am 8 am 9 am 10 am 11 am 12 pm 1 pm 2 pm 3 pm 4 pm 5 pm 6 pm 7 pm 8 pm 9 pm 10 pm 11 pm 12 am to 1 am 2 am 3 am 4 am 5 am 6 am 7 am 8 am 9 am 10 am 11 am 12 pm 1 pm 2 pm 3 pm 4 pm 5 pm 6 pm 7 pm 8 pm 9 pm 10 pm 11 pm 12 am

facebookview

  • गर्भधारण की योजना व तैयारी
  • गर्भधारण का प्रयास
  • प्रजनन क्षमता (फर्टिलिटी)
  • बंध्यता (इनफर्टिलिटी)
  • गर्भावस्था सप्ताह दर सप्ताह
  • प्रसवपूर्व देखभाल
  • संकेत व लक्षण
  • जटिलताएं (कॉम्प्लीकेशन्स)
  • प्रसवोत्तर देखभाल
  • महीने दर महीने विकास
  • शिशु की देखभाल
  • बचाव व सुरक्षा
  • शिशु की नींद
  • शिशु के नाम
  • आहार व पोषण
  • खेल व गतिविधियां
  • व्यवहार व अनुशासन
  • बच्चों की कहानियां
  • बेबी क्लोथ्स
  • किड्स क्लोथ्स
  • टॉयज़, बुक्स एंड स्कूल
  • फीडिंग एंड नर्सिंग
  • बाथ एंड स्किन
  • हेल्थ एंड सेफ़्टी
  • मॉम्स एंड मेटर्निटी
  • बेबी गियर एंड नर्सरी
  • बर्थडे एंड गिफ्ट्स

FirstCry Parenting

  • बड़े बच्चे (5-8 वर्ष)

मेरा परिचय पर निबंध (Essay On Myself In Hindi)

Essay On Myself In Hindi

In this Article

मेरा परिचय पर 10 लाइन का निबंध (10 Lines On Myself In Hindi)

मेरा परिचय पर निबंध 200-300 शब्दों में (short essay on myself in hindi 200-300 words), मेरा परिचय पर निबंध 400-600 शब्दों में (essay on myself in hindi 400-600 words), मेरा परिचय के इस निबंध से हमें क्या सीख मिलती है (what will your child learn from myself essay).

हर व्यक्ति की अपनी नजर में एक अलग पहचान होती है। खुद के बारे में जानना और दूसरों को अपना परिचय देना भी एक दिलचस्प कला है। हर इंसान का जिंदगी जीने का अपना तरीका होता है। सभी में कुछ अच्छी और बुरी दोनों आदतें शामिल होती हैं। अपने बेहतरीन गुणों की तलाश करना और उसको सही शब्दों का चुनाव करते हुए एक निबंध लिखना थोड़ा मुश्किल होता है। व्यक्ति सबसे ज्यादा खुद को पहचानता है लेकिन उसे कोई अपने बारे में लिखने के लिए बोले तो उसका वर्णन करना मुश्किल हो जाता है। हर व्यक्ति में अच्छाइयां-बुराइयां होती हैं, लेकिन उनको सही वाक्यों का उपयोग कर के लिखना जितना आसान लगता है उतना आसान नहीं होता। इस लेख में निबंध के रूप में अपना परिचय किस तरह दिया जाना चाहिए इस बारे अलग-अलग शब्द सीमा में सैंपल दिए गए हैं। यहाँ उदाहरण के लिए रिया शर्मा नाम की लड़की का परिचय उसके ही शब्दों में प्रस्तुत किया गया है।

मेरे बारे में जानकारी चाहते हैं तो मैंने अपना परिचय 10 पंक्तियों की मदद से दिया है, आप भी इनकी मदद से अपना परिचय भी लिख सकते हैं।

  • मेरा नाम रिया शर्मा है और मेरी उम्र 9 साल है।
  • मेरा जन्म 15 अगस्त 2014 को उत्तर प्रदेश के शहर कानपुर में हुआ था।
  • मैं एक मध्यमवर्गीय परिवार की रहने वाली हूं।
  • मेरा एकल परिवार है, जिसमें मम्मी, पापा, भैया और मैं रहते हैं।
  • मेरे माता-पिता दोनों सरकारी विभाग में काम करते हैं और मुझे बहुत प्यार करते हैं।
  • मैं सेंट थॉमस स्कूल की कक्षा 5 की छात्रा हूं।
  • मुझे स्कूल में हिंदी और इंग्लिश विषय बहुत पसंद हैं।
  • मेरे मम्मी-पापा ने मुझे सभी बड़े लोगों की इज्जत करना सिखाया है।
  • मैं शाम को अपना होमवर्क करने के बाद, पार्क में पापा के साथ खेलने जाती हूं।
  • मुझे खाली समय में डांस करना बहुत अच्छा लगता है।

यदि आपको अपना परिचय कुछ शब्दों में देना है तो हमारा द्वारा 200-300 शब्दों में लिखा गया ये निबंध आपकी मदद कर सकता है। इसमें वे सभी बातें मौजूद हैं, जो एक बेहतरीन निबंध लिखने में काम आएंगी। आइए एक नजर इस पर डालते हैं।

मेरा नाम रिया शर्मा है और मेरी उम्र 9 साल है। मेरा जन्म उत्तर प्रदेश के कानपुर शहर में 15 अगस्त 2014 को हुआ था। मैं एक मध्यवर्गीय परिवार की रहने वाली हूं। मेरे परिवार में माता-पिता और बड़ा भाई है। हम सभी लोग बहुत प्यार से और मिल-जुलकर रहते हैं। मेरे दोनों माता-पिता सरकारी विभाग में काम करते हैं। मेरी मम्मी डिफेंस में कार्यरत हैं और पिता रेलवे विभाग में काम करते हैं, जिसकी वजह से वह अक्सर घर से बाहर रहते हैं। मैं कानपुर के प्रसिद्ध सेंट थॉमस स्कूल की कक्षा 5 की छात्रा हूं। मेरी दिनचर्या भी आम बच्चे की तरह है। मम्मी रोज सुबह मुझे उठाती हैं और मेरे लिए नाश्ता तैयार करती हैं। उसके बाद मैं, मेरा भैया और मम्मी साथ में नाश्ता करते हैं। जब पापा घर पर होते हैं तो वह भी हमारे साथ बैठते हैं। मेरा बड़ा भाई जो कि मुझसे 4 साल बड़ा है उसी स्कूल में पढ़ता है और हम दोनों स्कूल बस से एक साथ जाते हैं। स्कूल में मुझे बहुत मजा आती है। दोस्तों के साथ हम पढ़ाई के साथ खूब मौज मस्ती भी करते हैं। स्कूल में पढ़ाए जाने वाले सभी विषय अच्छे हैं लेकिन मेरा पसंदीदा विषय इंग्लिश और हिंदी है। घर वापस लौटने के बाद हम लोग खाना खाते हैं फिर होमवर्क करने के लिए बैठ जाते हैं। फिर शाम को जब मम्मी वापस आती हैं, तो हम बाहर पार्क में खेलने जाते हैं। मुझे डांस करने का भी बहुत शौक और जब भी मुझे मौका मिलता है तो मैं डांस करती और सीखती भी हूँ। स्कूल में डांस की कई प्रतियोगिताओं में मैंने भाग लिया और जीता भी है। मेरे माता-पिता ने मुझे सभी बड़ों का आदर करना सिखाया है और मैं उनकी बताई बातों का पूरी तरह से पालन करती हूँ।

Mera parichay par nibandh

व्यक्ति अपना परिचय जितना अच्छे से दे सकता है देता है लेकिन फिर भी कही न कहीं कमी रह जाती है। व्यक्ति के दिमाग में तो बहुत सारी चीजें चलती है लेकिन उन भावनाओं को शब्दों में बदलना और उससे बेहतरीन वाक्यों के साथ लिखना थोड़ा मुश्किल होता है। लेकिन यदि आपको माइसेल्फ पर अच्छा निबंध लिखना है, तो नीचे लिखे निबंध का तरीका आप अपना सकते हैं और अच्छा निबंध लिखकर दूसरों को प्रसन्न भी कर सकते हैं।

मेरा व्यक्तित्व

मेरा नाम रिया शर्मा है और मेरी आयु है 9 साल। मेरा जन्म 15 अगस्त 2014 को उत्तर प्रदेश के कानपुर शहर में हुआ और मैं एक मध्यमवर्गीय परिवार से आती हूं। मेरे परिवार में माता-पिता और बड़ा भाई है। मैं कक्षा 5 में पढ़ती हूं।

मेरा परिवार (My Family)

मेरे पिता एक सरकारी नौकरी में हैं और वह रेलवे विभाग में काम करते हैं। वह एक बड़े अधिकारी हैं और नौकरी की वजह से वह अक्सर घर और परिवार से दूर रहते हैं। लेकिन जब वह घर लौटते हैं तो मुझे और मेरे भाई को हर जगह घुमाने ले जाते हैं, अच्छा खाना खिलाते हैं, खिलौने और कपड़े दिलाते हैं और साथ ही बहुत मस्ती करते हैं। वहीं मेरी माँ भी सरकारी नौकरी करती हैं। उनका ऑफिस सुबह 8 बजे से शाम 5 बजे तक होता है। मेरी माँ सुबह ही मेरे और भाई के लिए नाश्ता और लंच बना देती है और जब हम स्कूल से वापस आते हैं, तो मेरा बड़ा भाई खाने को गर्म करता है और हम दोनों साथ मिलकर खाते हैं। मम्मी का इंतजार करते-करते हमलोग टीवी देखते हैं या फिर होमवर्क खत्म कर लेते हैं। पापा बाहर रहते हैं इसलिए हमारा ज्यादा समय मम्मी के साथ बीतता है। मेरी मम्मी बहुत प्यारी हैं और मुझे बहुत प्यार करती हैं। वह मुझे पढ़ाती, अपने हाथों से खाना खिलाती हैं। मेरा बड़ा भाई मुझसे 4 साल बड़ा है और वह मेरे ही स्कूल में कक्षा 9 में पढ़ता है। हमारा चार लोगों का परिवार बहुत ही संतुष्ट और खुश परिवार है।

मेरी ताकत और कमजोरियां (My Strength And Weakness)

हर व्यक्ति में कुछ ताकतें और कमजोरियां तो जरूर होती हैं, तो चलिए आपको मैं अपनी ताकतों और कमजोरियों के बारे बताती हूं

  • मेरा परिवार मेरी सबसे बड़ी ताकत है।
  • मैं इंग्लिश और हिंदी विषय में दूसरे विषयों से अधिक सक्षम हूं।
  • मैं डांस में काफी अच्छी हूं और मुझे कई पुरस्कार भी मिले हैं।
  • मैं एक साहसी और समझदार लड़की हूं।
  • मुझे नई रचनात्मक चीजें सीखना और बनाना बहुत पसंद है।
  • मैं अपना होमवर्क हमेशा समय पर खत्म करती हूं।
  • वैसे तो मैं हर काम करती हूं लेकिन कभी-कभी आलस आता है।
  • मेरा गुस्सा मेरी सबसे बड़ी कमजोरी है।
  • मुझे गणित विषय बिलकुल पसंद नहीं है, इसलिए उसमें नंबर कम आते हैं।
  • मैं टीवी देखते में बहुत समय व्यतीत करती हूं।

मेरा पसंदीदा शौक (My Favourite Hobby)

मैं जब 4 साल की थी तबसे मुझे नृत्य में रुचि रही है। किसी को डांस करता देख मैं खुद ठुमकने लगती थी। छोटी उम्र में ही मुझे डांस का शौक हो और आज भी मुझे डांस करना बेहद पसंद है। डांस मेरी पसंदीदा हॉबी है। जब भी मुझे खाली समय मिलता है या फिर मेरा पढ़ाई करने का मन नहीं करता तो मैं टीवी पर गाने लगाकर अभिनेत्रियों की तरह डांस करने का प्रयास करती हूं। डांस मेरा पसंदीदा शौक ही नहीं बल्कि मेरा जूनून भी बन गया है। मैं अभी से ही बड़ी होकर एक अच्छी कोरियोग्राफर बनने का सपना देखती हूं। इतना ही नहीं स्कूल में जितनी भी डांस की प्रतियोगिता होती है मैं सभी में भाग लेती हूं और कई बार मुझे अवार्ड भी मिला है। मेरे डांस की हर कोई तारीफ करता है चाहे वो पापा-मम्मी हों, टीचर हों या फिर मेरे दोस्त।

अपने बारे में लिखना और बताना जितना आसान लगता है, वास्तव में होता नहीं है। अपना परिचय सही तरह से देना बहुत जरूरी है ये बच्चे के व्यक्तित्व को शुरुआत से प्रभावशाली बनाने में मदद करता है। मेरा परिचय के इस लेख से आपको कैसे अपना परिचय देना चाहिए इसकी जानकारी मिली होगी। इस लेख की सहायता से बच्चा मेरा परिचय के विषय पर खुद भी एक अच्छा निबंध लिख सकेगा।

मेरा परिचय निबंध से आपके बच्चे को अपने बारे में निबंध लिखने की प्रेरणा मिलेगी और साथ ही वह यह भी सीखेगा कि किस तरह से ऐसे निबंध की शुरुआत की जाती है। इस निबंध का मुख्य उद्देश्य यह जानना है कि बच्चा अपने बारे में कितना जानता है और खुद भी भावनाएं एक निबंध के रूप में व्यक्त करना कितना मुश्किल या आसान है। यदि आपके बच्चे को भी मेरा परिचय पर निबंध लिखना है तो उसे निबंध को पूरा पढ़ने के लिए जरूर कहें।

यह भी पढ़ें:

प्रिय मित्र पर निबंध मेरी रुचि पर निबंध मेरा परिवार पर निबंध

RELATED ARTICLES MORE FROM AUTHOR

कुतुब मीनार पर निबंध (essay on qutub minar in hindi), प्लास्टिक प्रदूषण पर निबंध (essay on plastic pollution in hindi), चांदीपुरा वायरस – अपने बच्चे की सुरक्षा कैसे करें, मोबाइल फोन पर निबंध (essay on mobile phone in hindi), प्रकृति पर निबंध (essay on nature in hindi), बच्चों के साथ हवाई यात्रा करते समय इन 15 बातों का ध्यान रखें, popular posts.

FirstCry Parenting

  • Cookie & Privacy Policy
  • Terms of Use
  • हमारे बारे में

my first day of school essay in hindi

  • हिन्दी दिवस पर भाषण
  • हिन्दी दिवस क्विज
  • हिन्दी दिवस स्लोगन
  • सीबीएसई बोर्ड एग्जाम
  • Career Expert Advice
  • Hindi Diwas Essay In 300 Words 14 September Nibandh Pdf In Hindi

Hindi Diwas Nibandh: हिंदी दिवस पर निबंध कैसे लिखें? ये 300 शब्द लिखकर इनाम कर लें अपने नाम

Hindi diwas par nibandh hindi me: 14 सितंबर को हिंदी दिवस मनाया जा रहा है। इस मौके पर स्कूल, कॉलेजों में कई कार्यक्रम होते हैं, जिनमें से निबंध प्रतियोगिता भी एक है। अगर आपको भी हिंदी दिवस पर निबंध लिखना है, तो ये लेख आपकी मदद करेगा। बताई गई बातें आपको हिंदी दिवस पर भाषण देने में भी सहयोग करेंगी।.

hindi diwas essay in 300 words 14 september nibandh pdf in hindi

हिंदी दिवस कब मनाया जाता है?

हिंदी दिवस कब मनाया जाता है?

हिंदी दिवस हर साल 14 सितंबर को मनाया जाता है। इस दिन 1949 में, भारतीय संविधान सभा ने हिंदी को भारत की राजभाषा के रूप में स्वीकार किया था। हिंदी दिवस का उद्देश्य हिंदी भाषा को प्रोत्साहित करना और उसके प्रति लोगों में जागरूकता फैलाना है। यह दिन हमें हिंदी के महत्व और इसके प्रति हमारी जिम्मेदारी की याद दिलाता है। हिंदी हमारी अखंडता को बनाए रखने का एक माध्यम भी है। (फोटो- Freepik)

हिंदी भाषा का महत्व

हिंदी भाषा का महत्व

हिंदी सिर्फ एक भाषा नहीं है, बल्कि यह भारतीय संस्कृति और एकता का प्रतीक है। यह हमें हमारे समृद्ध इतिहास, साहित्य और परंपराओं से जोड़ती है। हिंदी दुनिया भर में करोड़ों लोगों द्वारा बोली जाती है, जो इसे दुनिया की सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषाओं में से एक बनाता है। हिंदी हमारी राष्ट्रीय एकता को मजबूत बनाती है और हमें विश्व में एक अलग पहचान दिलाती है।

हिंदी को 14 सितंबर 1949 को भारत की राजभाषा का दर्जा मिला था। भारतीय संविधान के अनुच्छेद 343 के तहत हिंदी को देवनागरी लिपि में राजभाषा के रूप में मान्यता दी गई। स्वतंत्रता संग्राम के दौरान हिंदी ने देश को एकजुट करने में अहम भूमिका निभाई थी। (फोटो- Freepik)

हमारे साहित्य में हिंदी का योगदान

हमारे साहित्य में हिंदी का योगदान

हिंदी ने भारतीय साहित्य में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। हिंदी के कवियों में प्रेमचंद, महादेवी वर्मा, भारतेंदु हरिश्चंद्र, तुलसीदास, सूरदास और मीराबाई जैसे प्रसिद्ध लेखक और कवि शामिल हैं। उनके कार्यों ने भारतीय समाज और संस्कृति की हमारी समझ को आकार दिया है। हिंदी साहित्य हमें जीवन के मूल्यों और आदर्शों की शिक्षा देता है। हिंदी देश के विभिन्न राज्यों, संस्कृतियों और धर्मों को जोड़ने वाली भाषा है। हिंदी साहित्य, कला, संगीत और सिनेमा का महत्वपूर्ण स्तंभ है। (फोटो- Freepik)

आधुनिक युग में हिंदी का प्रयोग

आधुनिक युग में हिंदी का प्रयोग

आज के डिजिटल युग में भी हिंदी फल-फूल रही है। हिंदी भाषा को विभिन्न देशों द्वारा भी अपनाया गया है, जिनमें नेपाल, भूटान और मॉरीशस शामिल हैं। हिंदी हमें विश्व में एक अलग पहचान दिलाती है और हमारी संस्कृति को पूरे विश्व में फैलाती है। हिंदी का इंटरनेट, सोशल मीडिया और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर उपयोग बढ़ता जा रहा है। हिंदी फिल्मों और गीतों के माध्यम से इसको अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लोकप्रियता मिल रही है। (फोटो- Freepik)

मिलकर मनाएं हिंदी दिवस

मिलकर मनाएं हिंदी दिवस

हिंदी दिवस मनाते हुए हमें अपनी भाषा और संस्कृति पर गर्व होना चाहिए। आइए, हम हिंदी को भविष्य की पीढ़ियों के लिए बढ़ावा देने का प्रयास करें। हिंदी दिवस हमें हमारी भाषा और संस्कृति की विरासत की याद दिलाता है। हमें हिंदी के प्रचार-प्रसार में योगदान देना चाहिए। हिंदी में अधिक से अधिक लेखन, पठन-पाठन और संवाद करें। अपनी मातृभाषा को गर्व से अपनाएं और नई पीढ़ी को इससे जोड़ें। हमें हिंदी का अधिक से अधिक उपयोग करना चाहिए और इसे अपने दैनिक जीवन का हिस्सा बनाना चाहिए। (फोटो- Freepik)

रेकमेंडेड खबरें

Hindi Diwas Poem: गूंजी हिंदी विश्व में..अटल जी की यादगार कविता, जब भारत की भाषा से गूंज उठा था यूएन

  • फॉन्‍ट बदलें A A
  • Change Language हिंदी | Hindi বাঙালি | Bengali தமிழ் | Tamil
  • डार्क थीम लाइट थीम
  • मराठी बातम्या
  • उत्तर प्रदेश
  • मध्य प्रदेश
  • टीवी पर क्या देखें
  • #ग्रेटर कैलाश में फायरिंग
  • #मेट्रो से जुड़ी बड़ी खबर
  • #ट्रंप बनाम कमला

Hindi Diwas Essay: स्कूल में लिखने के लिए सबसे अच्छा है हिंदी दिवस का यह निबंध, बच्चों को जरूर पढ़ना चाहिए एकबार 

Hindi diwas short essay: बच्चों को विद्यालय के लिए हिंदी दिवस का निबंध लिखना हो या भाषण तैयार करना हो, यहां दिया लेख बच्चों के बेहद काम आएगा. .

Hindi Diwas Essay: स्कूल में लिखने के लिए सबसे अच्छा है हिंदी दिवस का यह निबंध, बच्चों को जरूर पढ़ना चाहिए एकबार 

Hindi Diwas 2024: हर साल 14 सितंबर के दिन हिंदी दिवस मनाया जाता है. इस मौके पर स्कूलों और शैक्षिक संस्थानों समेत हिंदी भाषी कामकाजी क्षेत्रों में भी इस दिन को मनाया जाता है. हिंदी दिवस के मौके पर विद्यालयों में खासतौर से बच्चों के बीच तरह-तरह की प्रतियोगिताएं करवाई जाती हैं. बच्चों को हिंदी के लेख (Hindi Essay) लिखने के लिए कहा जाता है, कविताएं पढ़ी व सुनाई जाती हैं और हिंदी के महत्व पर बात होती है. ऐसे में यहां पढ़िए हिंदी दिवस का ऐसा निबंध जिसे बच्चे स्कूल में लिखने के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं. 

हिंदी दिवस का निबंध | Hindi Diwas Essay 

उत्तर भारत की प्रमुख बोली है हिंदी. बच्चा जब बोलना सीखता है तो उसके मुंह से हिंदी के शब्द निकलते हैं. लेकिन, बड़े होते-होते सामाजिक और औपचारिक रूप से इंग्लिश की जरूरत देखते हुए हिंदी से बच्चे दूर जाने लगते हैं. हिंदी के खोते हुए महत्व को बनाए रखने और इसकी जरूरत व हिंदी के विशालकाय इतिहास (History) व साहित्य पर प्रकाश डालने के लिए हर साल हिंदी दिवस मनाया जाता है. इस दिन का मकसद हिंदी की प्रासंगिकता और महत्व को अखंडित बनाए रखना भी है. 

हिंदी को 14 सितंबर, 1949 में भारत की राजभाषा का दर्जा दिया गया था. हिंदी भाषा (Hindi Language) का साहित्य भी भारत की सामाजिक स्थिति पर प्रकाश डालने वाला साबित हुआ. हिंदी ने कई महान कवि और उपन्यासकार भी दिए हैं जिनमें प्रेमचंद, भारतेंदू हरिश्चंद्र, सूरदास, तुलसीदास और मीराबाई के नाम शामिल हैं. हिंदी सिनेमा का भी एक बड़ा इतिहास रहा है. भारत में कला, साहित्य , संगीत और सिनेमा के क्षेत्र में हिंदीभाषी कलाकारों का बड़ा हाथ रहा है. 

आधुनिक युग में हिंदी की बात करें तो धीरे-धीरे हिंदी के स्तर को कमतर समझने की गलती की जा रही है. व्यक्ति अगर हिंदी बोलता है और उसे अंग्रेजी भाषा नहीं आती है तो उसे अक्सर ही बाकी लोगों की तुलना में कम समझा जाता है. ऐसे में हिंदी का महत्व (Importance) बनाए रखना जरूरी है. इस भाषा में आज भी अनेक गाने हैं, साहित्य है और फिल्म आदि हैं जिन्हें बढ़ावा देना जरूरी है जिससे हिंदी की लोकप्रियता बनी रहे. 

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

  • Notifications

Hindi Diwas Essay: स्कूल में लिखने के लिए सबसे अच्छा है हिंदी दिवस का यह निबंध, बच्चों को जरूर पढ़ना चाहिए एकबार 

विदद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First day at School in Hindi

my first day of school essay in hindi

विदद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First day at School in Hindi!

जीवन की अनेक घटनाएँ (Incidents) हम भूल जाते हैं, किन्तु कुछ घटनाएँ ऐसी भी होती हैं, जो हमें सदा याद रहती हैं । मेरी स्मृति में वह दिन आज भी ताजा है जो मैं कभी नहीं भूल सकता । वह दिन था -इस विद्याल में प्रवेश (Admission) लेने के बाद कक्षा का पहला दिन ।

बात दो साल पहले की है । छठी कक्षा की परीक्षा पास करने केबाद मेरे पिताजी का तबादला (Transfer) देहरादून से शिलांग हो गया । मैं अपने माता-पिता के साथ यहाँ आ गया और मुझे इस नये विद्यालय में प्रवेश मिला । नये विद्यालय में कक्षा सातवीं में प्रवेश पाने केबाद मुझे खुशी केसाथ चिंता भी हुई ।

ADVERTISEMENTS:

मन में कुछ संकोच (Hesitation) भी था कि न जाने इस नई जगह और नये विद्यालय में सहपाठी (Class-Fellows) कैसे-होंगे औरवे मेरेसाथ कैसा बर्ताव (Behave) करेंगे । पहले ही दिन जब मैं स्कूल पहुँचा तो मेरी झिझक (Hesitation) कम हो गई । स्कूल का भवन देहरादून वाले स्कूल के समान ही विशाल था । स्कूल के विद्यार्थी काफी सुशील (Well-mannered) तथा अनुशासित (Disciplined) दिखाई पड़ रहे थे ।

पिताजी मेरे साथ थे । उन्होंने प्रधानाध्यापक (Headmaster) तथा कुछ अध्यापकों से मेरा परिचय कराया (Introduce) । कक्षा में पहुँचने पर कक्षाध्यापक (Class Teacher) ने भी बड़े प्यार से मेरा परिचय लिया । विद्यालय के पुराने विद्यार्थी मेरी ओर बड़ी उत्सुकता (Curiosity) से देख रहे थे ।

मध्यावकाश के समय कुछ छात्रों ने मुझे घेर लिया और मैंने उन्हें अपना परिचय दिया । मध्यावकाश (Interval) के समय सहपाठियों ने अपनी टिफिन मेरे साथ बाँट कर खायी । छुट्‌टी के समय विद्यालय के मुख्य द्वार तक कई सहपाठी मेरे साथ आए । मैंने सबसे विदा ली और इस प्रकार पहला दिन समाप्त हुआ ।

मेरा यह नया विद्यालय पिछले विद्यालय जैसा ही है लेकिन पहले अध्यापकों का स्नेह (Affection) तथा सहपाठियों का अपनापन मुझे पिछले विद्यालय से अधिक लगा । विद्यालय-परिसर (School Campus) में दाखिल होने के समय जो मन में भय था, छुट्‌टी होने के समय तक वह दूर हो चुका था ।

4. उपसंहार:

मैं आज भी इस विद्यालय में हूँ और अनेक छात्र मेरे मित्र बन गए हैं, लेकिन पहले दिन का उनका स्नेहपूर्ण बर्ताव (Behave) मैं कभी नहीं भूल सकता ।

Related Articles:

  • विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First Day at School in Hindi
  • स्कूल में मेरा पहला दिन पर अनुच्छेद | Paragraph on My First Day at School in Hindi
  • विद्यालय में मेरा प्रथम दिन | My First Day at School in Hindi
  • मेरा विद्यालय पर निबंध |Essay on My School
  • articles in hindi

हिंदी दिवस 2024 पर बड़े और छोटे निबंध स्कूली छात्रों और बच्चों के लिए

हिंदी दिवस पर निबंध: हिंदी, भारत की मातृभाषा है। यह सबसे अधिक बोली जाने वाली और सम्मानित भाषाओं में से एक है। छात्रों को नीचे दिए गए निबंधों को पढ़कर इसके बारे में अधिक जानना चाहिए।   हिंदी दिवस 2024 पर 150 - 200 शब्दों का निबंध हिंदी में पाने के लिए इस लेख को पढ़ें।.

Atul Rawal

Hindi Diwas Par Nibandh: भारत में 14 सितंबर को हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। यह दिन भारत की आधिकारिक भाषाओं में से एक हिंदी भाषा को बढ़ावा देने और उसका जश्न मनाने के लिए मनाया जाता है। यह दिन राष्ट्रीय एकता और विविध सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देता है।   इस अवसर पर, स्कूल, छात्रों को हिंदी और इसके महत्व के बारे में शिक्षित करने के लिए स्कूल प्राधिकारी और शिक्षक कार्यक्रम आयोजित करते हैं। स्कूल छात्रों को अधिक जानकार और खुद को अभिव्यक्त करने में आत्मविश्वासी बनाने के लिए निबंध लेखन और भाषण प्रतियोगिताओं का आयोजन करते हैं।

यहां आपको हिंदी दिवस पर निबंधों के कुछ उदाहरण मिलेंगे। ये हिंदी दिवस निबंध हिंदी में हैं, जिसका उद्देश्य हिंदी दिवस 2024 के लिए आयोजित निबंध लेखन प्रतियोगिताओं में छात्रों को बेहतर प्रदर्शन करने में मदद करना है। हिंदी दिवस निबंध 150-200 शब्दों के हैं। छात्रों के लिए हिंदी दिवस पर निबंध देखें।

  • Hindi Diwas Essay in English
  • Hindi Diwas Speech For Students
  • Hindi Diwas Slogans

हिंदी दिवस पर 10 पंक्तियां (10 Lines on Hindi Diwas)

  • हिंदी दिवस हर साल 14 सितंबर को मनाया जाता है।
  • यह भारत की राष्ट्रीय भाषा हिंदी को बढ़ावा देने और मनाने के लिए है।
  • हिंदी भारत की सांस्कृतिक विरासत का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है।
  • हिंदी भाषा का प्रयोग भारत में व्यापक रूप से किया जाता है।
  • हिंदी दिवस पर विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं।
  • इन कार्यक्रमों में कविता पाठ, नाटक, गायन आदि शामिल होते हैं।
  • हिंदी दिवस का उद्देश्य लोगों को हिंदी भाषा के महत्व के बारे में जागरूक करना है।
  • यह दिन हमें हिंदी भाषा का सम्मान करने और इसका उपयोग बढ़ाने के लिए प्रेरित करता है।
  • हिंदी दिवस पर स्कूलों और कॉलेजों में विशेष कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं।
  • हिंदी भाषा का प्रयोग भारत के विकास और प्रगति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

  हिंदी दिवस पर निबंध हिंदी में (Essay on Hindi Diwas in Hindi)

हिंदी दिवस पर निबंध हिंदी में (150 शब्द).

अधिकांश भारतीयों के लिए हिंदी एक भाषा नहीं बल्कि एक भावना है। 14 सितंबर इसी भावना को मनाने के लिए समर्पित दिन है। भारतीय इस दिन को हिंदी दिवस के रूप में मनाते हैं, क्योंकि यह देश की आधिकारिक भाषाओं में से एक के रूप में हिंदी को अपनाने की याद दिलाता है। इस दिन को इसलिए चुना गया क्योंकि यह ब्योहर राजेंद्र सिम्हा की जन्मतिथि है। वह एक प्रमुख हिंदी विद्वान थे और हिंदी को बढ़ावा देने के लिए जाने जाते थे।

हिंदी एक ऐसी भाषा है जिसकी लिपि देवनागरी है। यह भाषा विविध भाषाई और सांस्कृतिक परिदृश्य को एक साथ जोड़ने में एकीकृत भूमिका निभाती है। एक भाषा के रूप में हिंदी संचार के माध्यम के रूप में कार्य करती है जो लोगों और क्षेत्रों को जोड़ती है, राष्ट्रीय पहचान की भावना को बढ़ावा देती है।

हिंदी दिवस 2024 के अवसर पर हमें अपनी भाषा का सम्मान करने और इसके संरक्षण के लिए आवश्यक कदम उठाने की शपथ लेनी चाहिए। हिंदी दिवस का उत्सव भाषाई और सांस्कृतिक बहुलवाद के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

हिंदी दिवस पर निबंध हिंदी में (200 शब्द)

हिंदी दिवस पर, यह याद रखना महत्वपूर्ण है कि भारत कई क्षेत्रीय भाषाओं और बोलियों के साथ भाषाई विविधता का देश है। हिंदी दिवस राष्ट्रीय एकता के प्रतीक के रूप में हिंदी को कायम रखते हुए इस विविधता को संरक्षित और सम्मान करने की आवश्यकता की याद दिलाता है। हिंदी दिवस सिर्फ एक भाषा का उत्सव नहीं बल्कि भारत की विविधता में एकता का भी उत्सव है।

14 सितंबर इसी भावना को मनाने के लिए समर्पित दिन है। भारतीय इस दिन को हिंदी दिवस के रूप में मनाते हैं, क्योंकि यह देश की आधिकारिक भाषाओं में से एक के रूप में हिंदी को अपनाने की याद दिलाता है। इस दिन को इसलिए चुना गया क्योंकि यह ब्योहर राजेंद्र सिम्हा की जन्मतिथि है। वह एक प्रमुख हिंदी विद्वान थे और हिंदी को बढ़ावा देने के लिए जाने जाते थे।

हिंदी दिवस पर निबंध हिंदी में (250 शब्द)

14 सितंबर इसी भावना को मनाने के लिए समर्पित दिन है। भारतीय इस दिन को हिंदी दिवस के रूप में मनाते हैं, क्योंकि यह देश की आधिकारिक भाषाओं में से एक के रूप में हिंदी को अपनाने की याद दिलाता है। 26 जनवरी, 1950 को हिंदी को भारत की आधिकारिक भाषाओं में से एक के रूप में अपनाया गया था, उसी दिन जब भारतीय संविधान लागू हुआ था। इस निर्णय को भारतीय संविधान के अनुच्छेद 343 के माध्यम से औपचारिक रूप दिया गया, जिसने अंग्रेजी के साथ-साथ हिंदी को भारत सरकार की आधिकारिक भाषा के रूप में मान्यता दी, जिसका उपयोग एक संक्रमणकालीन अवधि के लिए किया जाना था।

14 सितंबर वह दिन है जब भारतीय हर साल हिंदी दिवस मनाते हैं। इस दिन को इसलिए चुना गया क्योंकि यह ब्योहर राजेंद्र सिम्हा की जन्मतिथि है। वह एक प्रमुख हिंदी विद्वान थे और हिंदी को बढ़ावा देने के लिए जाने जाते थे।

हिंदी दिवस मनाने के और भी कई कारण हैं; आइए उन पर चर्चा करें। समय के साथ, आधुनिकीकरण के इस दौर में विकसित होने के साथ-साथ हमारा हिंदी का ज्ञान भी कम होता जा रहा है। इस प्रकार, हिंदी दिवस का पहला और सबसे महत्वपूर्ण कारण हिंदी को एक भाषा के रूप में बढ़ावा देना है। दूसरा कारण राष्ट्र में भाषाई इकाइयों को बढ़ावा देना है। हिंदी दिवस का उद्देश्य सांस्कृतिक विरासत और बहुभाषावाद को बढ़ावा देना भी है। इससे हम अपनी राष्ट्रीय पहचान, शिक्षा और साक्षरता की रक्षा कर सकते हैं। दार्शनिकों और महान शिक्षाविदों ने कहा है कि जो राष्ट्र अपनी भाषा का सम्मान और पालन नहीं करता, उसका विनाश आसान होता है। इस प्रकार, हमें अपनी विरासत को जीवित रखना चाहिए और अपनी भावी पीढ़ियों और उनकी जड़ों के ज्ञान को मजबूत करने के लिए इसका पालन करना चाहिए। आइए मिलकर इस हिंदी दिवस को मनाएं। 

हिंदी दिवस पर निबंध हिंदी में (500 शब्द)

हिंदी दिवस, भारत की राष्ट्रीय भाषा हिंदी को बढ़ावा देने और मनाने के लिए मनाया जाता है। यह एक महत्वपूर्ण अवसर है जो हिंदी भाषा के महत्व और योगदान को उजागर करता है।

हिंदी दिवस का पहली बार मनाया जाना 1949 में हुआ था। उस समय, भारत की संविधान सभा ने हिंदी को देश की आधिकारिक भाषा के रूप में अपनाया था। हिंदी दिवस को मनाने का निर्णय इस महत्वपूर्ण अवसर को चिह्नित करने के लिए लिया गया था।

हिंदी भाषा भारत की सांस्कृतिक विरासत का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह देश की विभिन्न क्षेत्रों और समुदायों को जोड़ने में मदद करती है। हिंदी भाषा का व्यापक रूप से भारत में और दुनिया भर में उपयोग किया जाता है। यह शिक्षा, व्यापार, और सरकारी कार्यों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।

हिंदी दिवस के अवसर पर विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। इन कार्यक्रमों में कविता पाठ, नाटक, गायन, और भाषण शामिल होते हैं। इन कार्यक्रमों का उद्देश्य हिंदी भाषा के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना और लोगों को हिंदी भाषा का उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित करना है।

हिंदी दिवस का भारत पर गहरा प्रभाव पड़ा है। यह हिंदी भाषा के प्रचार-प्रसार में महत्वपूर्ण भूमिका निभाया है। हिंदी भाषा का उपयोग बढ़ने से देश की एकता और राष्ट्रीय पहचान को मजबूत करने में मदद मिली है। हिंदी भाषा का व्यापक उपयोग भारत के विकास और प्रगति में भी योगदान देता है।

यदि आपको 500 शब्दों का हिंदी दिवस निबंध दिया गया है, तो शब्द संख्या बढ़ाने के लिए उपरोक्त हिंदी दिवस निबंध में अधिक जानकारी जोड़ें। अधिक जानकारी के लिए आप ऊपर दिए गए हिंदी दिवस भाषण को देख सकते हैं। अपने निबंध में हिंदी दिवस के नारे जोड़ने से यह और अधिक आकर्षक हो जाएगा।

  • Hindi Day 2024 Slogans, Thoughts and Quotes
  • हिंदी दिवस पर भाषण 2024
  • हिंदी दिवस पर कविताएँ
  • Hindi Diwas Drawing Ideas 2024
  • Hindi Diwas Thoughts, Quotes in Hindi

आप जागरण जोश पर सरकारी नौकरी , रिजल्ट , स्कूल , सीबीएसई और अन्य राज्य परीक्षा बोर्ड के सभी लेटेस्ट जानकारियों के लिए ऐप डाउनलोड करें।

  • हिंदी दिवस पर निबंध में क्या शामिल करना चाहिए? + आप हिंदी का इतिहास, भारतीय संस्कृति में इसका महत्व और हिंदी सीखने और बोलने के फायदों के बारे में लिख सकते हैं। आप हिंदी भाषा से जुड़े अपने व्यक्तिगत अनुभवों या कहानियों को भी साझा कर सकते हैं।
  • अपने हिंदी दिवस निबंध को आकर्षक कैसे बनाएं? + अपने विचारों को स्पष्ट करने के लिए उदाहरणों, कहानियों और उद्धरणों का उपयोग करें। अपनी भाषा को सरल और समझने में आसान रखें।
  • UGC NET Re Exam City Intimation Slip 2024
  • Rajasthan Pre DEIEd Result 2024 Live
  • यूपी पुलिस एग्जाम एनालिसिस 2024
  • Rajasthan Pre DEIEd Result 2024
  • UGC NET उत्तर कुंजी 2024
  • बिहार पुलिस SI प्रोबेशन मेंस एडमिट कार्ड 2024
  • एमपी पैट एडमिट कार्ड 2024
  • बीएसएफ कांस्टेबल भर्ती 2024
  • Teachers Day Poem in Hindi
  • Teachers Day Speech in Hindi
  • स्कूल की बात

Latest Education News

Optical Illusion: Only People with Flawless Vision Ace This 15-Second IQ Test – Can You Find the Hidden Ring?

Brain Teaser IQ Test: Only the Sharpest Minds Can Spot the Left-Handed Person in 11 Seconds!

Asian Champions Trophy Hockey 2024: Full Schedule, Results, and Scores

Asian Hockey Champions Trophy 2024: टीम इंडिया और दक्षिण कोरिया सेमीफाइनल में, पॉइंट्स टेबल, और पूरा शेड्यूल यहां देखें

Asian Champions Trophy Hockey 2024 IND vs PAK: पाक पर भारत की शानदार जीत, हेड टू हेड रिकॉर्ड में पाक बहुत पीछे

Haryana Elections AAP Candidates List: सभी 90 सीटों पर ‘आप’ उम्मीदवारों की लिस्ट हुई जारी, यहां देखें सभी के नाम

Haryana BJP Candidate List 2024: सभी 90 बीजेपी उम्मीदवारों की लिस्ट जारी, यहां देखें सभी के नाम

Haryana Congress Candidates List: कांग्रेस 89 सीटों पर लड़ेगी चुनाव, 1 सीट CPM को, यहां देखें सभी के नाम

Hindi Diwas 2024: राष्ट्रीय और विश्व हिंदी दिवस में क्या है अंतर? पढ़ें यहां

TNPSC Group 2 Exam Analysis 2024: Shift 1 and 2 Paper Review, Questions Asked, Expected Cut Off Marks

Dadasaheb Phalke Award 2023 Winners List: Best Actor, Actress, Movie and Other Details

RRB NTPC Notification 2024 OUT at rrbapply.gov.in, Online Application for 8113 graduate Posts From 14 September

SSB Odisha TGT Result 2024 OUT at ssbodisha.ac.in: Download PDF for DV Here

IQ Test: Crack This Puzzle in 9 Seconds—Prove Your IQ Is Above 130!

Dr MGR Medical University Result 2024 OUT at tnmgrmu.ac.in; Direct Link to Download UG and PG Marksheet

Anna University Result 2024 OUT at coe1.annauniv.edu; Direct Link to Download UG and PG Marksheet PDF

Jiwaji University Result 2024 OUT at jiwaji.edu; Direct Link to Download UG, PG Marksheet PDF

CUC Result 2024 OUT on cuc.ac.in, Direct Link to Download Raja Shankarshah University UG and PG Marksheet

UP Police Constable Answer Key 2024 OUT at uppbpb.gov.in: Download UPPRPB Question Paper and Submit Objection

CSJMU Result 2024 OUT at csjmu.ac.in; Download Kanpur University UG and PG Marksheet PDF

Hindustan Hindi News

Hindi Diwas Essay : हिंदी दिवस पर सरल और छोटा निबंध, आसानी से होगा याद

Hindi diwas essay : हिंदी दिवस पर देश भर के स्कूलों में हिंदी कविता प्रतियोगिता, वाद-विवाद व भाषण प्रतियोगिता, निबंध लेखन, पोस्टर व कला प्रतियोगिता, क्विज, कविता गोष्ठी आदि कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। यहां हम स्कूली छात्रों के लिए हिंदी दिवस पर निबंध का उदाहरण दे रहे हैं।.

Hindi Diwas Essay : हिंदी दिवस पर सरल और छोटा निबंध, आसानी से होगा याद

Hindi Diwas Essay : भारत में हर साल 14 सितंबर का दिन हिंदी दिवस के तौर पर मनाया जाता है। हिंदी दिवस का दिन हमें गर्व का अहसास कराता है। ये दिन हमें उस दिन की याद दिलाता है जब हिंदी को भारत की राजभाषा बनाने का फैसला किया गया था। हिंदी दिवस पर देश भर के स्कूल, कॉलेजों और कार्यालयों में हिंदी कविता प्रतियोगिता, वाद-विवाद व भाषण प्रतियोगिता, निबंध लेखन, पोस्टर व कला प्रतियोगिता, क्विज, कविता गोष्ठी आदि कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। यहां हम स्कूली छात्रों के लिए हिंदी दिवस पर निबंध का उदाहरण दे रहे हैं। इस निबंध से स्टूडेंट्स काफी आइडिया ले सकते हैं।

Hindi Diwas Essay : हिंदी दिवस पर निबंध

हिंदी दिवस हर साल भारत में 14 सितंबर को मनाया जाता है। आजादी मिलने के दो साल बाद 14 सितबंर 1949 को संविधान सभा में एक मत से हिंदी को राजभाषा घोषित किया गया था। इस निर्णय के बाद हिंदी को हर क्षेत्र में प्रसारित करने के लिए राष्ट्रभाषा प्रचार समिति, वर्धा के अनुरोध पर 1953 से पूरे भारत में 14 सितंबर को हर साल हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाने लगा। 14 सितंबर 1953 को पहली बार देश में हिंदी दिवस मनाया गया। तब से हर साल पूरे देश में हिंदी दिवस बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता है। हमारे संविधान में भाग 17 के अनुच्छेद 343 से 351 तक राजभाषा को लेकर विशेष प्रावधान हैं। अनुच्छेद 343 (1)अनुच्छेद में कहा गया है कि भारत संघ की भाषा देवनागरी लिपी में हिन्दी होगी।

हिंदी दिवस का मकसद हिंदी भाषा को बढ़ावा देना है। इस भाषा की अहमियत के प्रति लोगों में जागरूकता फैलाना है। यह दिन हिंदी भाषा के महत्व, इसकी वर्तमान स्थिति और भविष्य में इसके समक्ष चुनौतियों पर मंथन करने का मौका देता है।

हिंदी का महत्व

भारत विविधताओं से भरा देश है। यहां अलग अलग धर्म व जाति के लोग रहते हैं। अलग अलग भाषाएं, बोलियां बोलने वाले, अलग अलग वेश-भूषा, खानपान व संस्कृति के लोग रहते हैं। ये हिंदी भाषा ही है जो देश के सभी लोगों एकता के सूत्र में पिरोती है। देश को एक रखने में हिंदी का बहुत बड़ा योगदान है। हिंदी भावों की अभिव्यक्ति का सबसे सरल जरिया भी है। हिंदी सिर्फ एक भाषा नहीं है, बल्कि यह भारतीय संस्कृति और एकता व अस्मिता का प्रतीक है। हिंदी हमारी राष्ट्रीय एकता को मजबूत बनाती है और हमें विश्व में एक अलग पहचान दिलाती है।

दुनिया भर में हिंदी की स्वीकार्यता

हिंदी की अहमियत का अंदाजा इससे पता चलता है कि आज हिंदी दुनिया में तीसरी सर्वाधिक बोली जाने वाली भाषा है। भारत ही नहीं बल्कि दुनिया भर के कई देशों में हिंदी बोली जाती है। इंग्लिश और मंदारिन के बाद हिंदी विश्व की तीसरी सबसे ज्यादा बोले जाने वाली भाषा है। विदेशों में बसे भारतीय प्रवासी तथा अमेरिका, मॉरीशस, दक्षिण अफ्रीका, यमन, न्यूजीलैंड और नेपाल आदि देशों में रहने वाले अन्य लोग भी हिन्दी बोलते हैं, जिससे हिन्दी को लोकप्रिय बनाने में मदद मिलती है। हिंदी को वैश्विक स्तर पर बढ़ावा देने के लिए 10 जनवरीको हर साल विश्व हिंदी दिवस भी आयोजित किया जाता है।भारत में डॉक्टरी और इंजीनियरिंग की पढ़ाई हिंदी में होने लगी है। एमबीबीएस और बीटेक की किताबें हिंदी में आने लगी हैं। सोशल मीडिया पर हिंदी पढ़ने व लिखने का उपयोग बढ़ता जा रहा है। डिजिटल युग में भी हिंदी का दायरा दिनोंदिन बढ़ता जा रहा है।

समस्या और हमारा संकल्प

हिंदी को रोजगार की भाषा बनाना होगा। आज रोजगार की दुनिया में अंग्रेजी का वर्चस्व है। आज हमें सबसे हिंदी में बोलने, पढ़ने और लिखने का संकल्प लेना चाहिए। बच्चों पर अंग्रेजी लादने की बजाय उन्हें हिंदी भी सिखानी चाहिए। कोई भी भाषा तभी बचती है जब शब्द बचते हैं, गढ़े जाते हैं, साहित्य रचा जाता है और ज्ञान का निर्माण होता है। देश को एकता के सूत्र में बांधने वाली हिंदी सिर्फ एक भाषा नहीं बल्कि भावों की अभिव्यक्ति है। आइये हम सब मिलकर इसको अधिक से अधिक उपयोग में लाएं।

लेटेस्ट    Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज ,    बिजनेस न्यूज ,    टेक ,    ऑटो ,    करियर , और    राशिफल , पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।

my first day of school essay in hindi

Nibandh

My First Day in School Essay in Hindi

ADVERTISEMENT

विद्यालय में मेरा पहला दिन दिन पर निबंध - स्कूल में पहला दिन - विद्यालय का विवरण - विद्यालय में प्रथम दिन - सहपाठियों का विवरण

रुपरेखा : प्रस्तावना - विद्यालय का विवरण - विद्यालय में प्रथम दिन - सहपाठियों का विवरण - उपसंहार।

जब कोई व्यक्ति किसी अज्ञात जगह पर जाता है या किसी अपरिचित व्यक्ति से मिलता है, तब उसे बहुत-सी शंकाएँ रहती हैं। उसी प्रकार, जब हम किसी नए विद्यालय में जाते हैं, तो हमारा मन शंकाओं और प्रश्नों से भरा रहता है। हम बहुत घबराए रहते हैं। हम नए शिक्षकों और सहपाठियों के बारे में जानने को उत्सुक रहते हैं। नए विद्यालय में मेरा पहला दिन मुझे अभी तक याद है। मैं दसवीं वर्ग में था। मैं माध्यमिक विद्यालय से उच्च माध्यमिक विद्यालय में जा रहा था।

विद्यालय में मेरा पहले दिन का अनुभव उस समय का है जब मेंने आठवीं कक्षा पास कर ली थी। मेरा रिजेल्ट बहुत ही अच्छा था मैंने प्रथम श्रेणी में पास कर लिया था। इसलिए मुझे शहर के एक अच्छे विद्यालय में प्रवेश लेने का अवसर प्राप्त हुआ। मेरे परिवार सहित सभी पास पड़ोस ओर रिश्तेदारों ने अपनी-अपनी सलाह ओर सुझाव प्रदान किये। सबके सुझाव सुनकर मेरे पापा ने मुझे एक अच्छे विद्यालय में मेरा प्रवेश करवा दिया। विद्यालय में प्रवेश के बाद मेरा प्रवेश पत्र भरकर जमा करवा दिया। कुछ दिनों बाद प्रवेश-सूची निकाली गई। और पहली सूची में ही मेरा नाम आ गया था। ये देखकर में बहुत खुश हुई। शुल्क, आदि जमा करने के बाद में अपने पठन-पाठन के लिए निश्चित समय पर विद्यालय के लिए घर से चल पड़ा।

जब मैंने अपने नए विद्यालय के द्वार में प्रवेश किया, मैं चकित रह गया। इसका परिसर आकार में विशाल था। विद्यालय-भवन बहुत सुंदर था। मैंने अपनी कक्षा को ढूँढ़ा और अंदर गया। अधिकतर सीटें भरी हुई थीं। मैंने देखा कि आखिरी बेंच खाली था और वहाँ बैठ गया। मेरे सभी सहपाठी मुझे अनभिज्ञ ढंग से घूर रहे थे। कुछ देर बाद हमलोग सुबह की सभा के लिए विद्यालय के खेल-मैदान में गए। वहाँ एक सामूहिक प्रार्थना हुई। उसके बाद प्राचार्य ने नए विद्यार्थियों को सम्बोधित करते हुए उन्हें अनुशासन के महत्त्व से अवगत कराया। हमारी वर्ग-शिक्षिका पहली घंटी में वर्ग में आईं। उन्होंने पूरी कक्षा से मेरा परिचय कराया। उन्होंने मेरे पूर्व विद्यालय एवं परीक्षाफल के बारे में पूछा। इसी तरह चार घंटियाँ बीत गईं। मेरे कुछ सहपाठी मुझसे बात करने आए। हमलोग मध्यावकाश के दौरान बाहर गए । तब-तक मैंने कुछ मित्र बना लिए थे। मैंने उनलोगों के साथ अपना मध्याह्न भोजन साझा किया। उन्होंने मुझे विद्यालय का पुस्तकालय, विज्ञान प्रयोगशाला और इन्डोर स्टेडियम दिखाया। उन्होंने मुझे विद्यालय के कुछ अन्य शिक्षकों के बारे में भी बताया। मैंने उनसे कुछ 'नोट्स' लिए। उन्होंने मेरे पाठ्यक्रम को पूरा करने में मुझे मदद करने का वादा किया। कुछ शरारती छात्रों ने मेरे साथ शरारत करने की कोशिश की। वह अनुभव भी अच्छा था। विद्‌यालय का प्रथम दिन होने के कारण मध्यावकाश के बाद पढ़ाई नहीं हुई । बच्चे खेलने लगे । मैंने खेल घर में जाकर कैरम बोर्ड और चैस खेला। खेल खेलते हुए मुझे बहुत आनंद आया । फिर छुट्‌टी की घंटी बजी । बच्चों ने बस्ता सँभाला और आपस में बातें करते हुए घर की ओर चले ।

इस प्रकार विद्‌यालय का प्रथम दिन नए विद्‌यालय को जानने तथा शिक्षकों एवं सहपाठियों से परिचय प्राप्त करने में बीता । कई नए अनुभव प्राप्त हुए । कई नए मित्र बनाए। नए मित्रों के साथ खेल खेले। फिर मित्र के साथ बातें करते-करते घर लौटे। घर लौटकर माँ, पिताजी और भाई के साथ अपने अनुभव बाँटे । मेरे सभी सहपाठी अच्छे थे। मैंने अपने नए विद्यालय में पहले दिन का बहुत आनंद लिया। कभी-कभी मुझे आज भी उस दिन की याद आती है।

Nibandh Category

IMAGES

  1. स्कूल मे मेरा पहला दिन पर निबंध/10 lines on my first day at school in hindi/essay on my first day

    my first day of school essay in hindi

  2. My First Day At School Essay In Hindi

    my first day of school essay in hindi

  3. स्कूल का पहला दिन पर निबंध । First Day of My School Essay in Hindi/विद्यालय में मेरा प्रथम दिन निबंध

    my first day of school essay in hindi

  4. 120,My first day at school essay🏫/my experience in my school/@english reading practice

    my first day of school essay in hindi

  5. Essay on my first day at School in Hindi विद्यालय में मेरा पहला दिन

    my first day of school essay in hindi

  6. स्कूल में मेरा पहला दिन हिंदी निबंध First Day of My School Essay in Hindi

    my first day of school essay in hindi

VIDEO

  1. Mera Baccha School Aaya Apni Maa Ka Naam Roshan Karne🥰My First Day School Surprise Vlog School Vlogs

  2. Essay on Students Life in Hindi

  3. मेरा विद्यालय पर निबंध/10 lines on my school in hindi/essay on my school/mera school par nibandh

  4. मेरा विद्यालय पर 10 लाइन / 10 lines Essay on My School in Hindi Writing /मेरा विद्यालय निबंध

  5. 10 Lines Hindi & English essay on My School 🏫 Simple easy 10 points on My School |Best 10Lines essay

  6. My First Day At School Essay

COMMENTS

  1. स्कूल का पहला दिन पर निबंध, पाठशाला/विद्यालय में पहला दिन: my first day

    स्कूल का पहला दिन पर निबंध (my first day at school essay in hindi) यह स्कूल में मेरा पहला दिन था। मेरे पास एक नया बैग, पानी की बोतल, नई किताबें, जूते और मोजे और साथ ही डोरा आकार का ...

  2. स्कूल का पहला दिन पर निबंध

    Essay In Hindi कक्षा 1 से 4 के लिए निबंध कक्षा 5 से 9 के लिए निबंध कक्षा 10 से 12 के लिए निबंध प्रतियोगी परीक्षा के लिए निबंध ऋतुओं पर निबंध त्योहारों ...

  3. स्कूल में पहला दिन पर निबंध, My First Day in School Essay in Hindi

    स्कूल में पहला दिन पर निबंध हिंदी, My First Day in School Essay in Hindi. स्कूल एक ऐसी जगह है जहां हर किसी की यादें होती हैं। हर कोई अपने स्कूल के दिनों को फिर से जीना चाहता है।

  4. स्कूल में पहला दिन पर निबंध

    स्कूल में मेरा प्रथम दिन पर निबंध - स्कूल का विवरण - स्कूल में प्रथम दिन - सहपाठियों का विवरण - First day in school essay in hindi - Essay on first day in school in hindi - Vidyalay mein mera pehla din par nibandh

  5. My First Day at School "स्कूल में मेरा पहला दिन" Essay in Hindi, Best

    My First Day at School "स्कूल में मेरा पहला दिन" Essay in Hindi, Best Essay, Paragraph for Class 8, 9, 10, 12 Students. Absolute-Study June 14, 2021 Hindi Essays No Comments

  6. स्कूल में मेरा पहला दिन पर अनुच्छेद

    स्कूल में मेरा पहला दिन पर अनुच्छेद | Paragraph on My First Day at School in Hindi प्रस्तावना: मैं पिछले चार वर्षों से सनातन धर्म सीनियर सेकेण्ड्री स्कूल में पढ़ रहा हूं, लेकिन आज ...

  7. Essay on My first day in school in Hindi

    Essay on My first day in school in Hindi : स्कूल का पहला दिन अक्सर हर बच्चे के जीवन में एक महत्वपूर्ण दिन माना जाता है। यह कई तरह की भावनाओं का समय होता है जब ...

  8. स्कूल में मेरा पहला दिन हिंदी निबंध First Day of My School Essay in Hindi

    First Day of My School Essay in Hindi: एक हाथ में पट्टी लिए, जेब में पेन डाले और एक हाथ में माता, पिता या बड़े भैया की अँगुली पकड़े छह सात वर्ष का बालक जब पहले-पहल स्कूल जाता है तब ...

  9. विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध

    Article shared by: विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First Day at School in Hindi! जब मैं चार वर्ष भी पूरे नहीं कर पाया था तब माता-पिता मुझे एक पब्लिक ...

  10. विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध

    विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध / Essay on My First Day at School in Hindi! नगर निगम प्राथमिक विद्‌यालय से पाँचवीं की परीक्षा उत्तीर्ण की तो नए विद्‌यालय में प्रवेश का ...

  11. My First Day At School Essay In Hindi

    👉 Website & PDF: https://www.silentcourse.com/2023/02/my-first-day-at-school-essay-in-hindi.html👇 Playlist: Hindi Essay https://www.youtube.com/playlist...

  12. Essay on my first day at School in Hindi विद्यालय में मेरा पहला दिन

    Essay on My First Day at School for Class 4 in Hindi 250 Words. यह मेरा दूसरा विघालय है, फिर भी जिस दिन इस विघालय में मेरा पहला दिन था, मैं बहुत घबराया हुआ था। हाल ही में हम दिल्ली में आकर बस थे ...

  13. विद्यालय का पहला दिन निबंध,कविता व विचार First day of school essay

    First day of school essay in hindi. मेरे स्कूल का पहला दिन मेरे लिए एक यादगार दिन है सुबह सुबह मेरी मां ने मुझे जल्दी जगाया और मुझे नहलाया तब मेरी उम्र 4 साल ...

  14. विद्यालय में मेरा पहला दिन निबंध » हिंदी निबंध, Nibandh

    विद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबंध। Hindi Essay on My first day at school. कभी-कभी ऐसा होता है। जब कहीं पर किसी विशेष अवसर पर प्रवेश करना पड़ता है। इस प्रकार अनुभव कभी-कभी ...

  15. Essay on My First Day in School: Sample in 100, 200, 350 Words

    Source - Cocomelon - Nursery Rhymes. Also Read: Essay on Joint Family in 500+ words in English Essay on My First Day in Day in School in 350 Words. My first day in school started by stepping onto the school bus with a bag full of books and a heart full of curiosity.

  16. निबंध : स्कूल में मेरा पहला दिन

    निबंध : स्कूल में मेरा पहला दिन - My First Day At School Essay In Hindi. स्कूल का मेरा पहला दिन रोमांचक और नर्वस करने वाला दोनों था।

  17. स्कूल का पहला दिन पर निबंध । First Day of My School Essay in Hindi

    स्कूल का पहला दिन पर निबंध । First Day of My School Essay in Hindi | स्कूल का पहलािन | Hindi Essay#firstdayofschool# ...

  18. विद्यालय में मेरा प्रथम दिन

    विदद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First day at School in Hindi ; मेरा विद्यालय पर अनुच्छेद | Article on My School in Hindi ; मेरा विद्यालय पर निबंध | Essay for Kids on My School in Hindi

  19. First Day of My School Essay in Hindi

    #learnwithnaynateacher #firstdayofschool #schoolvacation #summerholidays

  20. Short and Long Essay on Hindi Diwas

    This language is honoured with an annual celebration known as 'Hindi Diwas' or 'Hindi Day' on September 14th in India. On the global platform, World Hindi Day is celebrated on 10 January every year. In this blog, we will look at some sample essays on Hindi Diwas, as well as a few facts about it. Continue reading this blog to learn more.

  21. Hindi Diwas Essay: हिंदी दिवस पर निबंध कैसे लिखें? 100, 250, 500 शब्दों

    Explore easy essay ideas on Hindi Diwas for school kids. Find essays on Hindi Diwas in 100, 250, and 500 words, available in Hindi for students to understand its significance and celebration. Story first published: Wednesday, September 11, 2024, 21:42 [IST]

  22. मेरा परिचय पर निबंध हिंदी में

    मेरा परिचय पर निबंध 400-600 शब्दों में (Essay on Myself in Hindi 400-600 Words) व्यक्ति अपना परिचय जितना अच्छे से दे सकता है देता है लेकिन फिर भी कही न कहीं कमी रह जाती है। व्यक्ति के ...

  23. Hindi Diwas Nibandh: हिंदी दिवस ...

    14 September Hindi Diwas Essay in Hindi: आज 14 सितंबर 2024 को देश हिंदी दिवस मना रहा है। इसे ...

  24. स्कूल में पहला दिन पर निबंध

    स्कूल में पहला दिन पर निबंध - First Day of School Essay in Hindi - School Mein Pehla Din par Nibandh - Essay on First Day of School in Hindi. ADVERTISEMENT. रुपरेखा : प्रस्तावना - स्कूल का विवरण - स्कूल में प्रथम ...

  25. हिंदी दिवस का निबंध

    Hindi Diwas Short Essay: बच्चों को विद्यालय के लिए हिंदी दिवस का निबंध लिखना हो या भाषण तैयार करना हो, यहां दिया लेख बच्चों के बेहद काम आएगा.

  26. विदद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध

    विदद्यालय में मेरा पहला दिन पर निबन्ध | Essay on My First day at School in Hindi! 1. भूमिका: जीवन की अनेक घटनाएँ (Incidents) हम भूल जाते हैं, किन्तु कुछ घटनाएँ ऐसी भी होती हैं, जो हमें सदा ...

  27. हिंदी दिवस 2024 पर निबंध छात्रों और बच्चों के लिए (Long and Short Essay

    हिंदी दिवस पर निबंध: Get here long and short Essay on Hindi Diwas in Hindi, 150-200 शब्दों में हिंदी दिवस के लिए ...

  28. Hindi Diwas Essay : easy and short Essay on Hindi Diwas nibandh hindi

    Hindi Diwas Essay : हिंदी दिवस पर निबंध. हिंदी दिवस हर साल भारत में 14 सितंबर को मनाया जाता है। आजादी मिलने के दो साल बाद 14 सितबंर 1949 को संविधान सभा में एक मत से हिंदी को ...

  29. पाठशाला में मेरा पहला दिन पर निबंध

    पाठशाला में मेरा प्रथम दिन पर निबंध - पाठशाला का विवरण - पाठशाला में प्रथम दिन - सहपाठियों का विवरण - First day in school essay in hindi - Essay on first day in school in hindi - Pathshala mein mera pehla din par nibandh

  30. My First Day in School Essay in Hindi

    Essay In Hindi कक्षा 1 से 4 के लिए निबंध कक्षा 5 से 9 के लिए निबंध कक्षा 10 से 12 के लिए निबंध प्रतियोगी परीक्षा के लिए निबंध ऋतुओं पर निबंध त्योहारों ...